आजमगढ़:
अधिवक्ता संशोधन विधेयक के विरोध में अधिवक्ताओं ने अपने हाथों में काली पट्टी बांध किया प्रदर्शन, लगाए नारे
निजामाबाद (आजमगढ़ )
। जिले के निजामाबाद तहसील में अधिवक्ता संशोधन विधेयक के विरोध में अधिवक्ताओं ने अपने हाथों में काली पट्टी बांध कर प्रदर्शन किया और अपने मांगों के समर्थन में नारे लगाए।
शुक्रवार को अधिवक्ताओं ने अधिवक्ता संशोधन विधेयक के विरोध में तहसील मुख्यालय स्थित सभागार में अधिवक्ताओं ने बैठक किया। बैठक के बाद नारेबाजी करते हुए तहसील से बाहर रोड के किनारे बाबा साहब भीमराव अंबेडकर कि प्रतिमा के सामने धरना प्रदर्शन किया । कहा कि अधिवक्ता संशोधन विधेयक 2025 अधिवक्ता हित में नहीं है। जिसको लेकर अधिवक्ता लामबंद हैं।
विधेयक के विरोध में बार एसोसिएशन की बैठक संघ के अध्यक्ष मितई यादव की अध्यक्षता में हुई। सरकार द्वारा पारित विधेयक का कड़े शब्दो मे विरोध किया।अधिवक्ता सम्पूर्ण दिन न्यायिक कार्य से विरत रहे । अपने हाथों में काली पट्टी बांधे हुए थे। संघ के मंत्री चंद्रेश राम ने कहा कि यह विधेयक अधिवक्ताओं के हित के खिलाफ है । उन्होंने इस विधेयक को अधिवक्ता स्वतंत्रता के लिए घातक है ।इसे तत्काल रद्द करने की मांग जनहित में हैं। उन्होंने कहा कि भारत सरकार की ओर से प्रस्तावित अधिवक्ता संशोधन विधेयक 2025 अधिवक्ताओं के हित में नहीं है। और वही न्याय प्रणाली को सुचारू रूप से संचालित करने के लिए अधिवक्ता स्वतंत्रता बेहद आवश्यक है।लेकिन इस संशोधन विधेयक में अधिवक्ताओं के अधिकारों को सीमित करने का प्रस्ताव किया गया है। उन्होंने ने कहा कि विधेयक में अधिवक्ताओं के स्वतंत्र अधिकारों पर प्रतिबंध लगाने के प्रावधान शामिल किए गए हैं। जिससे वे आमजन को न्याय दिलाने में बाधित हो सकते हैं। उन्होंने अधिवक्ताओं का आह्वान किया कि सभी लोग विधेयक का विरोध दर्ज कराएं। और इसके खिलाफ सशक्त विरोध प्रदर्शन भी करें। इसके बाद बार एसोशिएशन के अधिवक्ताओं ने राष्ट्रपति , प्रधान मंत्री, और क़ानून मंत्री के नाम ज्ञापन दिया ।
इस अवसर पर बार एसोशिएशन के मंत्री चंद्रेश राम , मनोज राय ,देवेंद्र राय, अनिल कुमार, मोहन, कुमार, डॉक्टर शहनवाज ख़ान, लालमन यादव, कमलेश यादव, इशरत हुसैन, महेंद्र पांडेय, राम आसरे चतुर्वेदी, निलेश पाण्डेय आदि अधिवक्ता मौजूद रहे।
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