पटना में बढ़ते वायु प्रदूषण को देखते हुए प्रशासन का बड़ा निर्णय, निर्माण सामग्री को खुले में बिना ढंके रखा तो लगेगा जुर्माना
डेस्क : राजधानी पटना की आवोहवा दिन-प्रतिदिन खराब होती जा रही है। आलम यह है कि शहर के कई इलाकों की हवा बहुत ही खराब हो गई है। सांस लेना भी दुभर हो गया है। स्थिति को देखते हुए जिला प्रशासन ने बड़ा फैसला लिया है। शहर में सरकारी-निजी भवन निर्माण या अन्य कार्य के लिए सामग्री को खुला नहीं छोड़ा जा सकता है। प्रशासन खुले में निर्माण सामग्री रखने वालों पर जुर्माना लगाएगा। साथ ही जब्त भी कर लेगा।
बीते बुधवार को कलेक्ट्रेट सभागार में परिवेशीय वायु प्रदूषण नियंत्रण को लेकर आयोजित बैठक में यह निर्देश डीएम डॉ. चंद्रशेखर सिंह ने दिया। डीएम ने कहा कि शहर में वायु प्रदूषण का स्तर बढ़ता जा रहा है। वायु प्रदूषण को कम करने के लिए पटना नगर निगम चार मशीनें खरीदेगा। साथ ही सरकारी और निजी क्षेत्र में चल रहे निर्माण कार्य कपड़े की हरी पट्टी लगाकर रखना होगा। नगर निगम, परिवहन विभाग, यातायात पुलिस, पथ निर्माण, खनन, कृषि सहित सभी विभागों के पदाधिकारियों को आपस में समन्वय स्थापित कर प्रदूषण को रोकने के लिए काम करें।
उन्होंने कहा कि गांधी मैदान एवं आस-पास के क्षेत्र में धूलकण की अधिक मात्रा रहने के कारण वायु गुणवता खराब हो रही है। पटना नगर निगम द्वारा मैकेनिकल रोड स्वीपर मशीन की मदद से मुख्य सड़कों से धूलकण हटाने के लिए कार्य किया जा रहा है। मिस्ट कैनन एवं वाटर स्प्रींकलर मशीन से भी प्रदूषण नियंत्रण के लिए कार्रवाई की जा रही है।
जिलाधिकारी ने कहा कि आवश्यकता के अनुरूप मशीनों का क्रय किया जाएगा। दो स्प्रींकलर मशीन, एक जेटिंग मशीन तथा एक रोड स्वीपिंग मशीन खरीदने के लिए कार्रवाई की जा रही है। निर्माण एजेंसियों को ग्रीन कवर लगाकर निर्माण कार्य करने को कहा गया है। खुले में निर्माण सामग्रियों के परिवहन पर रोक लगा दी गई है। इस कार्य को एसडीएम और डीएसपी अपने अपने क्षेत्र में देखें।
Dec 12 2024, 12:38