उल्लास सम्मेलन : छत्तीसगढ़ी परिधान में प्रतिभागी बने आकर्षण का केन्द्र
रायपुर- भोपाल में आयोजित उल्लास के रीजनल कॉन्फ्रेंस में छत्तीसगढ़ के अधिकारियों एवं प्रतिभागियों ने हर कार्य में बेहतर प्रदर्शन कर लोगों का ध्यान आकर्षित किया। जहां एक ओर नवाचारी गतिविधियों की बेहतर प्रस्तुति दी गई, जिसमें कठपुतली इत्यादि को संजोकर छत्तीसगढ की प्रदर्शनी लगाई गई। शिक्षार्थी व स्वयंसेवी शिक्षक ने चुनौतियों का सामना करने के लिए बेहतर उपाय बताएं वहीं सांस्कृतिक कार्यक्रम में भी छत्तीसगढ़ छाया रहा।
भारत सरकार शिक्षा मंत्रालय के स्कूल शिक्षा एवं साक्षरता विभाग की संयुक्त सचिव अर्चना शर्मा अवस्थी, एनसीईआरटी नई दिल्ली की एनसीएल प्रभारी प्रोफेसर उषा शर्मा राज्य साक्षरता मिशन प्राधिकरण व राज्य शैक्षिक अनुसंधान व प्रशिक्षण परिषद छत्तीसगढ़ के डायरेक्टर राजेंद्र कुमार कटारा के कुशल नेतृत्व में दो दिवसीय उल्लास क्षेत्रीय सम्मेलन रीजनल कॉन्फ्रेंस NITTTR भोपाल में आयोजित कियागया। श्री कटारा ने छत्तीसगढ़ में उल्लास कार्यक्रम की प्रगति से संयुक्त सचिव श्रीमती अवस्थी को अवगत कराया। राज्य साक्षरता मिशन प्राधिकरण में उल्लास कार्यक्रम के राज्य नोडल अधिकारी कार्यक्रम में प्रोजेक्टर के द्वारा छत्तीसगढ़ में उल्लास में किए गए कार्यों एवं बेस्ट प्रैक्टिसेस को बताया। प्रस्तुतिकरण में साक्षरता चौक साक्षरता रथ साक्षरता ताली स्थानीय संसाधनों से पढ़ने के नए-नए तरीके के साथ यह भी बताया कि छत्तीसगढ़ राज्य में प्रथम चरण में 10 लाख असाक्षरों को साक्षर करने का लक्ष्य दिया गया है, उसमें से 75 प्रतिशत नाम उल्लास पोर्टल में दर्ज कर लिया गया है।
एससीईआरटी एससीएल प्रकोष्ठ प्रभारी डेकेश्वर प्रसाद वर्मा ने बताया कि उल्लास प्रवेशिका को छत्तीसगढ़ के परिप्रेक्ष्य में स्थानीय संदर्भ लोक संस्कृति, लोक कला को ध्यान में रखते हुए बनाया गया है। छत्तीसगढ़ राज्य के 16 स्थानीय भाषाओं में उल्लास गीत पुस्तक एवं ऑडियो निर्माण किए गए है।छत्तीसगढ़ तथा अन्य प्रदेशों के सेल्फ टीचिंग लर्निंग मटेरियल स्टॉल लगाए गए थे। छत्तीसगढ़ का स्टॉल आकर्षक रहा ओर सभी अतिथियों ने किए गए कार्यों की सराहना की। छत्तीसगढ़ राज्य के लिए यह क्षेत्रीय सम्मेलन विशेष रहा है रायपुर की जिला परियोजना अधिकारी डॉ कामिनी बावनकर के संयोजन में छत्तीसगढ़ की टीम ने सेल्फ टीचर लर्निंग मटेरियल को तैयार करके मंच पर बहुत ही अच्छा प्रदर्शन किया। जिसकी सभी राज्यों ने प्रशंसा की। संचालक श्री कटारा के आतिथ्य में सांस्कृतिक संध्या के प्रतिभागियों को अंग वस्त्र एवं पौधा भेंट किया गया।
भोपाल की धरती पर छत्तीसगढ़ महतारी का वंदन गीत पर शानदार नृत्य निर्जला धीवर, स्वयंसेवी शिक्षक एवं छत्तीसगढ़ के सरगुजा नृत्य हाय रे सरगुजा नाचे... गीत के नृत्य में, हेम धर साहू एवं ग्रुप ने सभी प्रतिभागियों को झूमने पर मजबूर किया । सांस्कृतिक संध्या मेंठछत्तीसगढ़ के बैगा संस्कृति व वेशभूषा से बीएड कॉलेज के छात्र अध्यापकों ने सभी को प्रभावित किया। छत्तीसगढ़ लोक संस्कृति के परिधान में साक्षरता के लिए किए गए कार्यों से लोग प्रभावित हुए और क्षेत्रीय सम्मेलन में अमिट छाप छोड़ी।
छत्तीसगढ़ के स्वयंसेवी शिक्षकों, नव साक्षर, शिक्षार्थी ने साक्षर बनाने में आ रही चुनौतियो को बताते हुएठ उल्लास में किए गए कार्यों की सफलता की कहानी बताई। स्वयंसेवी शिक्षकों की नवाचारी गतिविधियां कठपुतली के माध्यम से ‘‘दीदी ओ दाई ओ पढ़ना लिखना है जरूरी........’’ जैसे गीतों के साथ स्वयं सेवी शिक्षकों, नव साक्षर, शिक्षार्थी में आत्मविश्वास बना रहा। शिक्षक तस्कीन खान ने बताया कि वह शिक्षार्थियों को कक्षा में जोड़ने के लिए मुस्लिम होने के बावजूद रामचरितमानस सुनाकर रामायण पढ़ने की ललक जगाकर शिक्षार्थियों को पढ़ने की ओर प्रेरित किया।जन जन साक्षर... जय अक्षर का संकल्प लेते हुए छत्तीसगढ़ की टीम ने अपनी उपलब्धियां से दो दिवसीय क्षेत्रीय सम्मेलन में छत्तीसगढ़ का मान बढ़ाया। लोगों ने कहा छत्तीसगढ़िया सबले बढ़िया।
इस अवसर पर राज्य शिक्षा केंद्र के डायरेक्टर हरजिंदर सिंह, शिक्षा मंत्रालय की सलाहकार सुनीता चौहान, बानी बोरा, राज्य शिक्षा केंद्र भोपाल के नियंत्रक राकेश दुबे, सिद्धांत ज्योति, किरण खलको निर्जला धीवर, श्रुति तिवारी, शालिनी, प्रतिमा शिक्षार्थी एवं नव साक्षर सुमंती तिग्गा, धनराजी तिग्गा, श्यामापति का विशेष योगदान रहा।

रायपुर- भोपाल में आयोजित उल्लास के रीजनल कॉन्फ्रेंस में छत्तीसगढ़ के अधिकारियों एवं प्रतिभागियों ने हर कार्य में बेहतर प्रदर्शन कर लोगों का ध्यान आकर्षित किया। जहां एक ओर नवाचारी गतिविधियों की बेहतर प्रस्तुति दी गई, जिसमें कठपुतली इत्यादि को संजोकर छत्तीसगढ की प्रदर्शनी लगाई गई। शिक्षार्थी व स्वयंसेवी शिक्षक ने चुनौतियों का सामना करने के लिए बेहतर उपाय बताएं वहीं सांस्कृतिक कार्यक्रम में भी छत्तीसगढ़ छाया रहा।

रायपुर- मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने मुस्लिम भाईयों सहित प्रदेशवासियों को पैगम्बर साहब के जन्मदिवस ईद-मिलादुन्नबी की मुबारकबाद दी है। इस पवित्र मौके पर उन्होंने देश-दुनिया में अमन-चैन और लोगों की खुशहाली की कामना की है।
रायपुर- वाणिज्य उद्योग और श्रम मंत्री लखनलाल देवांगन ने कोरबा के वॉर्ड क्रमांक 53 दर्री कनवेयर बेल्ट के पास नवनिर्मित मुस्लिम समाज के सामुदायिक भवन का फीता काटकर लोकार्पण किया। साथ ही कीचन शेड और अन्य विकास कार्यों के लिए विधायक निधि से 15 लाख रुपए देने की घोषणा की।

रायपुर- आंजनेय विश्वविद्यालय और चेस सिटी रायपुर के संयुक्त तत्वावधान में शतरंज प्रतियोगिता आयोजित की गई। इस प्रतियोगिता में 208 से अधिक प्रतिभागियों ने भाग लिया। कार्यक्रम के समापन अवसर पर मुख्य अतिथि सांसद बृजमोहन अग्रवाल रहे। उन्होंने कहा कि शतरंज का खेल जीवन से गहराई से जुड़ा हुआ है, क्योंकि इसमें लिए जाने वाले फैसले और रणनीतियाँ हमारे जीवन के निर्णयों को प्रतिबिंबित करते हैं । शतरंज सिखाता है कि सोच-समझकर और धैर्यपूर्वक निर्णय लेना कितना महत्वपूर्ण है, ठीक वैसे ही जैसे जीवन में हमें हर कदम पर विचार करना पड़ता है । शतरंज धैर्य, योजना और सही समय पर सही निर्णय लेने की कला सिखाता है, जो हमारे व्यक्तिगत और व्यावसायिक जीवन में सफलता के लिए आवश्यक गुण हैं। विश्वविद्यालय के कुलाधिपति अभिषेक अग्रवाल ने कहा कि विद्यार्थी जीवन में शतरंज ध्यान और योग की तरह है, क्योंकि यह मानसिक एकाग्रता, धैर्य और त्वरित निर्णय लेने की क्षमता को बढ़ाता है। जैसे योग शरीर और मन को संतुलित करता है, वैसे ही शतरंज मस्तिष्क को सक्रिय रखता है और सोचने-समझने की क्षमता को विकसित करता है ।


रायपुर- छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय आज उज्जैन में मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के पूज्य पिता स्व. पूनमचंद यादव के तेरहवीं कार्यक्रम में शामिल हुए। मुख्यमंत्री श्री साय ने इस अवसर पर स्व. पूनमचंद यादव के तैलचित्र पर पुष्प अर्पित कर विनम्र श्रद्धांजलि दी। उन्होंने दिवंगत पुण्यात्मा को शांति प्रदान करने ईश्वर से प्रार्थना की।
रायपुर- भाजपा प्रदेश प्रभारी नितिन नवीन ने रविवार को कुशाभाऊ ठाकरे परिसर स्थित प्रदेश भाजपा कार्यालय में विभिन्न चरणों में बैठकें लेकर भाजपा सदस्यता अभियान की समीक्षा की। उन्होंने प्रदेश सदस्यता टोली और मोर्चा-प्रकोष्ठों के पदाधिकारियों के साथ दो चरणों में सदस्यता अभियान की अब तक की प्रगति की समीक्षा की। उन्होंने प्रकोष्ठ मोर्चा को बूथों की जिम्मेदारी दी। उन्होंने कहा कि आने वाले समय में पार्टी की गतिविधियों में सक्रिय सदस्यों को ही दायित्व दिए जाएंगे।
रायपुर- वन एवं जलवायु परिवर्तन, सहकारिता, कौशल विकास एवं संसदीय कार्य मंत्री केदार कश्यप ने आज यहां नारायणपुर के घड़ी चौक में अभियंता सर मोक्षगुंडम विश्वेश्वरैया की प्रतिमा का अनावरण किया। उन्होंने कहा कि अभियंता सर विश्वेश्वरैया ने अभियांत्रिकी क्षेत्र में देश को अलग पहचान दिए। श्री कश्यप ने कहा कि डॉ. मोक्षगुंडम विश्वेश्वरैया एक सिविल इंजीनियर, राजनेता और मैसूर के 19वें दीवान थे, देश के लिए उनके द्वारा किए गए योगदान को भुलाया नही जा सकता। श्री कश्यप ने कर्नाटक राज्य में स्थित कृष्णा राजसागर बांध को उनकी प्रमुख उपलब्धियों में से एक बताया। भारत के प्रथम अभियंता सर विश्वेश्वरैया को वर्ष 1955 में भारत के सर्वाेच्च सम्मान भारत रत्न से विभूषित किया गया था।
Sep 16 2024, 13:10
- Whatsapp
- Facebook
- Linkedin
- Google Plus
1- Whatsapp
- Facebook
- Linkedin
- Google Plus
12.3k