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लखीपुर खीरी में तूफान में मचाई तबाही, कई जगह गिरे बिजली के खंभे व पेड़, पांच की मौत


लखनऊ । यूपी में जहां एक तरफ भीषण गर्मी पड़ने से लोगों का जीना मुहाल हो गया है। ऐसे में समय में लखीमपुर खीरी में गुरुवार की रात आंधी और तूफान में जमकर तबाही मचाई। यहां पर कई स्थानों पर बिजली के खंभे व पेड़ के गिरने से पांच लोग घायल हो गए और कई घायल हो गए है। आंधी इतनी तेज थी कि लोगों के घरों के टीनशेड उड़कर दूर जा गिरे।

तूफान के चलते कार पर गिरा पेड़

जानकारी के लिए बता दें कि जिले के फूलबेहड़ क्षेत्र के अंन्देश नगर के पास तूफान के चलते पेड़ कार पर गिर गया। हादसे में कार चला रहे घनश्याम गिरी की मौत हो गई। वह पत्नी और बच्चों के साथ कार से रिश्तेदारी से घर लौट रहे थे। पत्नी व दो बच्चे गंभीर रूप से घायल  हो गए। सूचना पर पहुंची पुलिस ने गिरे पेड़ को हटवाकर कार निकाली और शव पोस्टमार्टम के लिए भेजा। घायल महिला और उसके दो बच्चों को सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया है। फरधान थाना क्षेत्र के गांव लोन पुरवा में पक्की दिवार गिरने से 60 वर्षीय बुजुर्ग की मौत हुई है।

तेज आंधी में गिरी पक्की दीवार

इसी प्रकार से हैदराबाद थाना क्षेत्र के गांव इमलिया में रात आठ बजे के करीब आई आंधी के दौरान गांव में विशाल नीम का पेड़ गिर गया। पेड़ के नीचे गांव निवासी तौले राम का 35 वर्षीय पुत्र विनोद कुमार समेत कुछ लोग बैठे थे। आंधी में नीम पेड़ ढह गया, जिसके नीचे दबकर विनोद कुमार की मौत हो गई। वहीं अन्य लोग बाल-बाल बच गए। गोला थाना क्षेत्र के गांव विलासपुर ग्राम पंचायत तेंदुआ में तेज आंधी आने से पक्की दीवार  गिर जाने से 75 वर्षीय फूलमती पत्नी शिवराम की मौके पर मौत हो गई। घटना से उनके परिवार में कोहराम मच गया। उधर, थाना हैदराबाद के गांव बेलवा में आंधी तूफान के कारण दीवार से दबकर विकास ( 36 वर्ष) पुत्र हरद्वारकी मृत्यु हो गई है। आंधी से सबसे ज्यादा नुकसान आम की फसल को हुआ है।
अमेठी में बंद फाटक पर खड़ी छह गाड़ियों को तेज रफ्तार कंटेनर ने मारी ठोकर, एक परिवार के तीन बच्चों की मौत
लखनऊ/अमेठी। यूपी के अमेठी जिले में भीषण सड़क हादसा हो गया। यहां के  लखनऊ-सुल्तानपुर राष्ट्रीय राजमार्ग पर गुरुवार की रात क्रॉसिंग बंद होने के कारण खड़ी छह गाड़ियों को लखनऊ से आ रही एक तेज रफ्तार कंटेनर ने ठोकर मार दी। जिससे एक कार में सवार चार लोग घायल हो गए। इलाज के दौरान एक ही परिवार के तीन बच्चों की मौत हो गई। जानकारी मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंचकर शव को कब्जे में लकर पोस्टमार्टम को भेज दिया।

कमरौली थाना क्षेत्र के लखनऊ वाराणसी राष्ट्रीय राजमार्ग पर रात में करीब तीन बजे बीएचईएल गेट के सामने स्थित रेलवे क्रॉसिंग बंद था। इसके कारण कई गाड़ियां क्रासिंग पर खड़ी थी। इसी बीच लखनऊ की तरफ से आ रही तेज रफ्तार कंटेनर ने कई गाड़ियों को टक्कर मार दी। टक्कर इतनी जोरदार थी कि हुंडई कार, डीसीएम, पिकअप, थार समेत सात गाड़ियां क्षतिग्रस्त हो गई।

टक्कर से एक कार सवार चार बच्चे अदनान (11) पुत्र जुल्फिकार, फातिमा (13) पुत्री शकील, आफरीन (14) पुत्री मंजूर और फारिस (8) पुत्र बबलू गंभीर रूप से घायल हो गए। हादसे के बाद मची चीख पुकार के बाद पुलिस व स्थानीय लोग मौके पर पहुंचे। घायलों को अस्पताल पहुंचाया गया। जहां पर इलाज के दौरान अदनान, फातिमा और आफरीन निवासी नटॉली पारा बाजार थाना बल्दीराय जिला सुल्तानपुर की मौत हो गई, जबकि फारिस का इलाज चल रहा है। वहीं एक परिवार के तीन बच्चों की मौत की खबर पर परिवार में कोहराम मच गया है।
नशे के रूप में कप को पश्चिमी बंगाल भेजने वाले गिरोह का भंडाफोड़, दो गिरफ्तार

लखनऊ । यूपी एसटीएफ ने सील गोदाम का ताला तोड़कर कफ सिरप (फेन्साडिल) गायब करने वाले दो आरोपियों को  गिरफ्तार किया है। इस गोदाम से कफ सिरप को अवैध ढंग से अलग-अलग राज्यों में सप्लाई किया जाता था। गिरफ्तार अभियुक्त का नाम  पवन गुप्ता पुत्र गया नाथ गुप्ता निवासी आलमनगर, शैलेन्द्र आय्या पुत्र मेढ़ई लाल आर्या, निवासी जानकीपुरम लखनऊ है। इनके कब्ज से चार मोबाइल, एक आधार कार्ड आैर एक हजार नकद बरामद किया है।

*काफी दिनों ने एसटीएफ को थी इनकी तलाश*

विगत काफी दिनों से विभिन्न प्रकार के कफ सिरप व अन्य दवाओं को नशे के रूप में प्रयोग करने के लिए इसका अवैध भण्डारण व बिहार, झारखण्ड, आसाम, पश्चम बंगाल व बांग्लादेश में सप्लाई होने की रोकथाम के लिए उत्तर प्रदेश शासन द्वारा स्पेशल टॉस्क फोर्स लखनऊ व खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन विभाग, यूपी  की संयुक्त जांच समिति का गठन किया गया था। इसी क्रम में पुलिस उपायुक्त एसटीएफ लाल प्रताप सिंह के नेतृत्व में टीम जानकारी एकत्र कर रही थी। मिली जानकारी के अनुसार, आठ अप्रैल को एसटीएफ व खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन विभाग की संयुक्त टीम ने ट्रक चालक फरीदाबाद के संतोष कुमार यादव को गिरफ्तार कर 52 पेटी फेन्साडिल कफ सिरप बरामद किया था।

*सील गोदाम को तोड़कर माल गायब कर दिया था*

पूछताछ में चालक ने सरोजनीनगर के ट्रांसपोर्ट नगर से कफ सिरप को लोड करने की बात कुबूली थी। गोदाम को खाद्य विभाग की टीम ने सील कर दिया था। सील गोदाम को तोड़कर माल गायब कर दिया गया था। मामले में बुधवार को एसटीएफ ने तालकटोरा के पवन गुप्ता और जानकीपुरम के शैलेंद्र आर्य को ठाकुरगंज से गिरफ्तार कर लिया। दोनों के पास से चार मोबाइल, एक आधार कार्ड और एक हजार रुपये मिले हैं। पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि लालच में आकर कुछ लोगों के साथ मिलकर कफ सिरप को जाली ई-वे बिल व चालान बिल्टी के जरिये मंगवाकर पश्चिम बंगाल व बांग्लादेश में सप्लाई करते हैं। इससे काफी मुनाफा होता है।गिरफ्तार अभियुक्तों को थाना सुशांत गोल्फ सिटी मुकदमा दर्ज किया जा रहा है।
सातवें चरण के चुनाव के लिए आज रवाना होगी पालिंग पार्टियां
लखनऊ । उत्तर प्रदेश के मुख्य निर्वाचन अधिकारी नवदीप रिणवा ने बताया कि लोकसभा चुनाव के सातवें चरण की 13 सीटों और दुद्धी (अजजा) विधानसभा उप चुनाव के लिए शुक्रवार को पोलिंग पार्टियां रवाना होंगी।

सभी जिला निर्वाचन अधिकारियों को समय से पोलिंग पार्टियों को रवाना करने के निर्देश दिए गए हैं। रिणवा ने बताया कि सातवें चरण में महराजगंज, गोरखपुर, कुशीनगर, देवरिया, बांसगांव (अजा), घोसी, सलेमपुर, बलिया, गाजीपुर, चंदौली, वाराणसी, मिर्जापुर व राबर्ट्सगंज (अजा) लोकसभा क्षेत्रों में वोट पड़ेंगे। सभी मतदान कर्मिकों को हीट स्ट्रोक से बचने के लिए मेडिकल किट उपलब्ध कराई जाएगी।
आजम खां को 10 साल की सजा
लखनऊ/रामपुर । डूंगरपुर के एक और मामले में सपा नेता आजम खां को कोर्ट ने झटका दिया है। कोर्ट ने गुरुवार को आजम खां को 10 साल की सजा 14 लाख जुमार्ना की सजा सुनाई है। सुनवाई के दौरान सपा नेता वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये सीतापुर जेल से जुड़े।

सपा नेता आजम खां के खिलाफ 2019 में डूंगरपुर बस्ती में रहने वाले लोगों ने बस्ती को खाली कराने के नाम पर लूटपाट, चोरी, मारपीट समेत अन्य धाराओं में गंज थाने में 12 मुकदमे दर्ज कराए थे। इनमें से तीन मुकदमों में फैसला आ चुका है। दो मामलों में सपा नेता बरी हो चुके हैं, जबकि एक मामले में उन्हें सात साल की कैद की सजा सुनाई जा चुकी है।

सपा नेता आजम खां फिलहाल सीतापुर जेल में बंद हैं। इस मामले में बुधवार को कोर्ट ने आजम खां व ठेकेदार बरकत अली को दोषी करार दिया था। गुरुवार को दोनों को सजा सुनाई गई।
प्रचंड गर्मी के मौसम को देखते हुए हरे चारे में मौजूद विष से पशुओं को बचाएं पशु पालक

लखनऊ/कानपुर। गर्मी के मौसम में पशुओं के लिए हरा चारा नितांत आवश्यक है। लेकिन इस तपती गर्मी में इस समय हरे चारे के रूप में ज्वार एवं बाजरे की फसल मौजूद है।जिसमें हाइड्रोसायनिक नामक अम्ल होता है जो पशु को नुकसान करता है। ऐसे में यह चारा बहुत सावधानी से पशुओं को खाने के लिए दें। यह जानकारी गुरुवार को चन्द्रशेखर आजाद कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय कानपुर के पशुपालन वैज्ञानिक डॉ. शशिकांत ने दी।

दम घुटने से पशुओं की हो जाती है मौत

उन्होंने बताया कि इस जहरीले अम्ल का निर्माण हरे चारे में मौजूद साइनोजेनिक ग्लूकोसाइड के कारण होता है, इन ग्लूकोसाइड पर चारे अथवा रूमेन में मौजूद एंजाइम की क्रिया से हाइड्रोसायनिक अमल बनता है जो जहर होता है।पशुपालन वैज्ञानिक ने बताया कि साइनाइड विषाक्त में ऑक्सीजन के वाहक एंजाइम प्रभावित होने के कारण शरीर के ऊतकों में ऑक्सीजन की कमी हो जाती है जिससे दम घुटने से पशु की मृत्यु हो जाती है। ऐसे कई पौधे एवं चारे हैं जिनके सेवन से साइनाइड विषाक्तता हो सकती है, किंतु इसमें साइनाइड की मात्रा 500 पी पी एम हरे चारे में एवं 200 पी पी एम सूखे चेहरे में सुरक्षित रहता है, परंतु यह मात्रा जब हरे चारे में 600 पी पी एम से ज्यादा हो जाता है तो पशु के लिए खतरनाक साबित होता है।

साइनोजेनिक ग्लूकोसाइड की मात्रा हो जाती है अधिक

साइनाइड की मात्रा विभिन्न मौसमों में पौधों के विभिन्न भागों में भिन्न-भिन्न होती है। मुख्यतः ज्वार, बाजरा चारी आदि चारों में कभी-कभी कुछ विशेष परिस्थितियों में साइनोजेनिक ग्लूकोसाइड की अधिक मात्रा होने के कारण इसके सेवन में पशुओं की मृत्यु हो जाती है।डॉ शशिकांत ने बताया कि चारे में विष की मात्रा उसकी अवस्था, मृदा में नाइट्रोजन की उपस्थिति, किसान द्वारा बुवाई के समय चारे की वृद्धि के लिए दी गई यूरिया या अन्य खाद एवं पानी की कमी आदि कारकों पर निर्भर करती है।

चारे में साइनाइड की मात्रा बढ़ जाती है: डॉ. शशिकांत

विशेष रूप से पानी की कमी के कारण जिन पौधों की वृद्धि रुक गई हो, पत्तियां सूख कर मुरझा गई हो वह पीली पड़ गई हो, ऐसे चारे में साइनाइड की मात्रा बढ़ जाती है।

डॉक्टर कांत ने कहा हरे चारे के अभाव में भूखे पशु यह चारा देखते ही लालच बस इसे खा लेते हैं जानकारी के अभाव में पशुपालक भी मुरझाई हुई एवं अविकसित ज्वार, बाजरा एवं चरी को हरे चारे के अभाव में देने लगते हैं, इसके कारण पशु की मृत्यु हो जाती है।

जाने जहरीले युक्त चारा खाने के बाद पशुओं का लक्षण

डॉ. शशिकांत ने जानकारी देते हुए बताया कि साइनाइड युक्त चारे के अचानक अधिक सेवन के 10 से 15 मिनट बाद ही पशु में विषाक्त के कारण प्रकट होने लगते हैं जिसमें - पशु बेचैन होने लगता है, उसके मुंह से लार गिरने लगती है, सांस लेने में कठिनाई होने लगती है तथा पशु मुंह खोलकर सांस लेता है, मांसपेशियों में ऐंठन व दर्द होने लगता है, अत्यंत कमजोरी की वजह से पशु लड़खड़ा कर जमीन पर गिर जाता है, पशु अपने सर को पेट की ओर घूमांकर रखता है, मुंह से कड़वे बादाम जैसी गंध आती है, रक्त का रंग चमकीली लाल हो जाता है, मृत्यु के समय दम घुटने जैसी कराह एवं पीड़ा होती है।

जाने कैसे करें उपचार

डॉ.कान्त ने बताया कि साइनाइड विषाक्तता के लक्षण प्रकट होते ही पशु को सोडियम नाइट्राइट 3 ग्राम एवं सोडियम थायोसल्फेट 15 ग्राम 200 मिलीलीटर पानी में घोलकर नसों द्वारा चिकित्सा से परामर्श के बाद देना चाहिए, सोडियम थायोसल्फेट 30 से 60 ग्राम मुंह से देना चाहिए, साइनाइड ग्रस्त पशु को ज्यादा पानी पिलाना चाहिए, चरागाहों में चरने के लिए ले गए पशुओं को कम बढ़ी हुई ज्वार व चरी की फसल नहीं खाने दें, अच्छी सिंचाई की गई ज्वार व चारी ही पशुओं को हरे चारे के रूप में दें लेकिन ध्यान रहे कि दो से चार बार बारिश होने के बाद ही बड़ी फसल पशुओं को खिलाएं, साइनाइड ग्रस्त चारे को हे के रूप में संरक्षित कर सकते हैं, साइनाइड ग्रस्त चारे को कुछ समय तक सूखने के बाद उसमें शीरा मिलकर साइलेज के रूप में खिलाने से भी विष का प्रभाव कम हो जाता है, छोटे मुरझाए हुए पीले वह सुख कर ऐंठे हुए पौधे को चारे के रूप में उपयोग नहीं करें।

लोकसभा : चंदौली में 40 साल से नहीं खुला कांग्रेस का खाता,बस एक बार चिघाड़ा हाथी

लखनऊ। पूर्वांचल की अहम संसदीय सीट चंदौली पर पिछले दस साल से भाजपा काबिज है। 2024 के चुनाव में भाजपा जीत की हैट्रिक की तैयारी में है। वहीं सपा और बसपा के सामने इतिहास दोहराने की चुनौती है। कांग्रेस पिछले चार दशक से जीत का सूखा झेल रही है। बता दें, 2024 के चुनाव में सपा-कांग्रेस को गठबंधन है। ये सीट सपा के खाते में है। बसपा अकेले मैदान में है। *चंदौली में बसपा ने अब तक 9 चुनाव लड़े* चंदौली में बसपा ने अब तक 9 चुनाव लड़े और उसे सिर्फ 1 बार जीत का स्वाद चखने का अवसर मिला। 1989 के चुनाव में बसपा ने यहां पहली बार किस्मत आजमाई। अपने पहले चुनाव में बसपा के जगन्नाथ कुशवाहा 15.32 फीसदी वोट शेयर के साथ तीसरे स्थान पर रहे। 1991 में बसपा के छविनाथ मौर्य 19.51 फीसदी वोट शेयर के साथ तीसरे रहे। 1996 में बसपा के हेमन्त कुमार कुशवाहा और 1998 में शशि कान्त राजभर तीसरे स्थान पर रहे। 1999 के आम चुनाव में कमला राजभर हाथी की टिकट पर मैदान में उतरी। उन्हें 26.03 फीसदी वोट मिले। कमला तीसरे स्थान पर रही। *चंदौली सीट का इतिहास,पहले दो चुनाव में साइकिल हुई पंचर* चंदौली संसदीय सीट पर अब तक 16 चुनाव हो चुके हैं। भाजपा यहां 5 बार, कांग्रेस 4 बार, समाजवादी पार्टी 2 बार और बसपा, संयुक्त सोशलिस्ट पार्टी, भारतीय लोकदल, जनता पार्टी और जनता दल 1-1 बार यहां जीत दर्ज कर चुके हैं। यहां की जनता ने सभी दलों को मौका दिया है। इस सीट पर जीत की हैट्रिक लगाने का गौरव भाजपा के खाते में है।चंदौली में सपा ने अपना चुनाव 1996 में लड़ा। इस चुनाव में सपा के कैलाश नाथ सिंह यादव दूसरे स्थान पर रहे। चुनाव भाजपा के आनन्द रत्न मौर्य ने जीता। आनन्द रत्न मौर्य को 189,179 (32.14 प्रतिशत) वोट मिले। वहीं कैलाश यादव के खाते में 158,028 (26.85 प्रतिशत)वोट आए। 31 हजार से ज्यादा मतों के अंतर से आनन्द ने ये चुनाव जीता। 1998 के चुनाव में सपा के जवाहर लाल जायसवाल को भाजपा के आनन्द रत्न मौर्य के हाथों हार का सामना करना पड़ा। *1999 में साइकिल ने पकड़ी रफ्तार* 13वीं लोकसभा के चुनाव में सपा की साइकिल ने यहां रफ्तार पकड़ी और जवाहर लाल जायसवाल दिल्ली पहुंचे। जवाहर लाल को 265,412 (36.52 प्रतिशत) वोट मिले। दूसरे स्थान पर रहे भाजपा के आनन्द रत्न मौर्य को 191,883 (26.41 प्रतिशत) वोट मिले। चुनाव में 55.07 फीसदी वोटिंग रिकार्ड हुई। 2004 के चुनाव में बसपा के हाथी ने साइकिल को पछाड़कर दिल्ली का टिकट कटा लिया। 2009 में दोबारा दौड़ी साइकिल,2004 में बसपा को मिली जीत* 15वीं लोकसभा के लिए साल 2009 में हुए चुनाव में दूसरी बार यहां सपा की साइकिल दौड़ी। सपा प्रत्याशी राम किशुन यादव ने बसपा के कैलाश नाथ यादव को मात्र 459 वोट से शिकस्त दी। राम किशुन को 180,114 (26.85 प्रतिशत) वोट मिले। वहीं बसपा प्रत्याशी को 179,655 (26.78 प्रतिशत) वोट प्राप्त हुए। इस चुनाव में 18 प्रत्याशी मैदान में थे। कुल 6 लाख 70 हजार 891 वोटरों ने अपना मताधिकार का प्रयोग इस चुनाव में किया। इस जीत के बाद 2014 और 2019 के चुनाव में सपा की साइकिल यहां दौड़ नहीं पाई। दोनों चुनाव भाजपा के डॉ.महेन्द्रनाथ पाण्डेय ने जीते।पहले पांच चुनाव में हार के बाद आखिरकार 2004 के आम चुनाव में बसपा के कैलाश नाथ सिंह यादव को जीत नसीब हुई। कैलाश नाथ ने सपा के आनन्द रत्न मौर्य को 1669 मतों के अंतर से शिकस्त दी। 2004 और 2009 के चुनाव में बसपा प्रत्याशी दूसरे स्थान पर रहे। 2019 में सपा-बसपा के गठबंधन में ये सीट सपा के खाते में थी। इसलिए बसपा ने यहां अपना प्रत्याशी नहीं उतारा। *40 साल पहले आखिरी बार जीती कांग्रेस* चंदौली सीट पर हुए 16 चुनाव में कांग्रेस 4 बार जीती है। यहां उसे आखिरी जीत 1984 के आम चुनाव में नसीब हुई। तब के चुनाव में कांग्रेस प्रत्याशी चन्दा त्रिपाठी ने जीत का झंडा गाड़ा था। इसके बाद 1989 के चुनाव में कांग्रेस यहां दूसरे नंबर पर रही। 1991, 96 और 98 के चुनाव में कांग्रेस प्रत्याशी चौथे स्थान पर रहे। तीनों चुनाव में उसकी जमानत जब्त हुई। 1999 के चुनाव में कांग्रेस चुनाव मैदान में उतरने की हिम्मत नहीं कर पाई। 2004 में कांग्रेस ने चुनाव में उतरने की हिम्मत तो दिखाई लेकिन वो चौथे नंबर से ऊपर उठ नहीं पाई। 2009 में कांग्रेस प्रत्याशी शिवेन्द्र कुमार तीसरे और 2014 में तरूण पटेल चौथे स्थान पर रहे। 2019 के चुनाव में कांग्रेस ने अपना प्रत्याशी मैदान में नहीं उतारा। गौरतलब है कि इस चुनाव में कांग्रेस सपा का गठबंधन है। ये सीट सपा के खाते में है।
राजधानी में बिजली कटौती को लेकर लोगों में आक्रोश , कई स्थानों पर आक्रोशित लोगों ने उपकेंद्रों का किया घेराव

लखनऊ । यूपी की राजधानी में बिजली कटौती कम होने का नाम ही नहीं ले रही है। जिसकी वजह से राजधानी के कई स्थानों पर बवाल भी बढ़ता जा रहा है। बुधवार रात बिजली गुल होने से नाराज लोगों ने प्रियदर्शिनी और गहरू उपकेंद्रों का घेराव किया। इसके साथ ही सीतापुर रोड जाम कर रात तीन बजे तक प्रदर्शन, हंगामा किया।प्रियदर्शिनी उपकेंद्र के 10 हजार उपभोक्ता पूर्व अफसरों की लापरवाही का खामियाजा भुगत रहे हैं।

यहां अतिरिक्त 33 केवी लाइन बनाई गई होती तो यह स्थिति न आती। बुधवार रात एक बजे फॉल्ट के चलते उपकेंद्र की बिजली गुल हो गई। इससे गर्मी से बेहाल लोग डेढ़ बजे सीधे उपकेंद्र पहुंचे और नारेबाजी, गाली-गलौज और मारपीट पर अमादा हो गए। यह देख एसडीओ, जेई आदि कर्मचारी भाग निकले। पकड़ में आए ऑपरेटर से लोगों ने अभद्रता की।

पुलिस की सुरक्षा में उपकेंद्र पहुंचे मुख्य अभियंता सुनील कपूर, अधीक्षण अभियंता दीपक कुमार को भी लोगों की नाराजगी झेलनी पड़ी। प्रदर्शनकारियों ने पुरनिया फ्लाईओवर से उतरने वाले रास्ते को बंद कर जाम लगा दिया। पुलिस के समझाने पर लोग तीन बजे लौटे। बिजली चालू करने की कसरत बुधवार सुबह सात बजे तक चली। मुख्य अभियंता व अधीक्षण अभियंता देर रात तक उपकेंद्र पर डटे रहे। बिजनौर और सरवननगर गांव में बुधवार रात नौ बजे लो वोल्टेज की समस्या आई। लोगों ने कई बार गहरू उपकेंद्र पर इसकी शिकायत की, पर समस्या दूर नहीं की जा सकी।

इसके बाद रात 11 बजे अचानक पूरी सप्लाई ही ठप हो गई। इससे गुस्साए लोग उपकेंद्र पहुंचे और हंगामा करने के साथ कंट्रोल रूम में घुसकर सारे फीडर बंद कर दिए। इससे चंद्रावल, नटकुर, कासिमखेड़ा, सरैया, शाहपुर मझिगवां, नूरनगर भदरसा, माती व कमलापुर सहित कई गांवों की सप्लाई ठप हो गई। कर्मचारियों ने सरोजनीनगर पुलिस को सूचना दी। पुलिस ने लाठी फटकारकर प्रदर्शनकारियों को भगाया। रात करीब दो बजे सप्लाई चालू हुई।
यूपी में गर्मी का कहर जारी, सभी अस्पतालों का किया अलर्ट, दोपहर एक बजे से चार बजे तक खुले में काम करने पर लगी रोक

लखनऊ । यूपी इन दिनों गर्मी पूरे चरम पर है। जिसके चलते जनजीवन बुरी तरह से प्रभावित है। गर्मी मार इंसान ही नहीं पशु पक्षियों पर भी जबरदस्त पड़ रही है। ऐसे में लू का खतरा जबरदस्त बढ़ गया है। जिसे देखते हुए अस्पतालों में लू से निपटने के लिए पुख्ता इंतजाम किये जा रहे है। प्रदेशभर के सभी चिकित्साधिकारियों को अलर्ट रहने का निर्देश दिये गये है। जिस वार्ड में मरीज भर्ती है वह कूलिंग की व्यवस्था और लू संबंधी दवाओं को रखने के निर्देश दिये गये है। राजधानी में तेज धूप व गर्मी को देखते हुए दोपहर एक से चार बजे तक खुले में काम पर रोक लगा दी गई है।

हर दिन गर्मी में इजाफा को देखते हुए लू की जारी की गई चेतावनी

जानकारी के लिए बता दें कि यूपी में हर दिन गर्मी में इजाफा हो रहा है।गर्मी का पारा हर दिन चढ़ता ही जा रहा है। जिसके देखते मौसम विभाग ने सप्ताहभर लू का प्रभाव अधिक रहने की चेतावनी दी है। ऐसे में स्वास्थ्य विभाग के प्रमुख सचिव पार्थ सारथी सेन शर्मा ने सभी चिकित्साधिकारियों को अलर्ट कर दिया है। मुख्य चिकित्साधिकारियों, चिकित्सा अधीक्षक एवं अन्य अधिकारियों को भेजे निर्देश में कहा कि गर्मी और लू को लेकर पहले से जारी निर्देश का पूरी तरह से पालन किया जाए। इमरजेंसी वार्ड एवं अन्य वार्डों में कूलर, पंखा और एसी को दुरुस्त रखा जाए।

लू से बचने के अस्पताल में हो दवाओं का पर्याप्त स्टाक

गर्मी और लू लगने पर उपचार में प्रयोग होने वाली दवाओं का पर्याप्त स्टाक रखें। जहां दवाएं कम हों, उन्हें तत्काल मंगवा लिया जाए। उन्होंने जिलाधिकारियों को भीड़भाड़ वाले स्थानों पर शुद्ध एवं ठंडा पानी की व्यवस्था कराने, गर्मी से बचाव के लिए शेलटर्स की व्यवस्था करने के भी निर्देश दिए हैं। ताकि अस्पताल आने वाले मरीजों व उनके परिजनों को किसी प्रकार से परेशानी का सामना न करना पड़े। इस निर्देश का सभी चिकित्साधिकारियों द्वारा कड़ाई से पालन किया जाए। इसमें किसी प्रकार की लापरवाही क्षम्य नहीं होगी।

व्यस्त चौराहों पर दो मिनत ज्यादा ट्रैफिक का न रोका जाए

राजधानी में गर्मी के तीखे तेवर से लोग बेहाल हैं। ऐसे में हीट वेव से बचाव के लिए उत्तर प्रदेश राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण और नगर निगम के बीच बुधवार को स्मार्ट सिटी के ऑफिस में हुई विशेष बैठक में अहम फैसले लिए गए। इसके तहत अब शहर में दोपहर एक से चार बजे तक निर्माण इकाइयों पर खुले में काम नहीं किया जाएगा। साथ ही किसी भी व्यस्त चौराहे पर दो मिनट से ज्यादा देर तक ट्रैफिक नहीं रोका जाएगा। जिन चौराहों पर ट्रैफिक हल्का है, वहां सिग्नल ब्लिंक मोड पर रहेंगे, यानी ट्रैफिक नहीं रुकेगा। नगर निगम के सभी जोनल ऑफिसों और कूलिंग सेंटर पर लोगों के लिए ओआरएस के पैकेट भी उपलब्ध कराए जाएंगे।

नगर आयुक्त की तरफ से मंगाए गए ओआरएस के पांच हजार पैकेट

नगर आयुक्त इंद्रजीत सिंह की तरफ से चौराहों पर सिग्नल की व्यवस्था को लेकर यातायात पुलिस को पत्र भेजा जा रहा है। ओआरएस के पांच हजार पैकेट मंगवाए गए हैं। लोगों से अपील की है कि धूप में निकलने से बचें। अगर निकलें तो छाता लेकर जाएं। बैठक में बनी कार्ययोजना को फिलहाल 15 के लिए लागू किया जाएगा। बैठक में आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की निदेशक डॉ. कनीज फातिमा, इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ पब्लिक हेल्थ (आईआईपीएच) गांधीनगर के प्रो. डॉ. महावीर प्रसाद सहित नगर निगम के अन्य अधिकारी भी थे।नगर निगम के सभी जोनल ऑफिसों में कूलिंग जोन बनाए हैं। यहां पीने के पानी की व्यवस्था के साथ कूलर भी लगाए गए हैं। लालबाग स्थित नगर निगम मुख्यालय सहित सभी जोनों में इनके इंतजाम को लेकर सभी जोनल अफसरों और जोनल सिनेटरी अधिकारियों को जिम्मेदारी दे दी गई है।

प्रयागराज का अधिकतम तापमान 48.8 डिग्री पहुंचा

उत्तर प्रदेश के ज्यादातर हिस्से बुधवार को भीषण लू की चपेट में रहे। जिन इलाकों में लू नहीं रही, वहां चल रही गर्म हवा लू का एहसास करा रही थी। बुधवार को प्रयागराज का अधिकतम तापमान 48.8 डिग्री पहुंच गया, जबकि कानपुर 48.4 डिग्री के साथ दूसरा सबसे गर्म शहर रहा। आंचलिक मौसम विज्ञान केन्द्र के वरिष्ठ मौसम वैज्ञानिक अतुल कुमार सिंह के मुताबिक, बुधवार को भीषण गर्मी के बीच अधिकतम तापमान सामान्य से 7 डिग्री तक अधिक रहा। जबिक रात का पारा भी 6 डिग्री से अधिक दर्ज हुआ।

जानलेवा हुई गर्मी, 51 की ली जान

बुंदेलखंड में प्रचंड गर्मी और लू की चपेट में आने से बुधवार को 31 लोगों की जान चली गई। इसमें महोबा में आठ, हमीरपुर में सात, चित्रकूट में छह, फतेहपुर में पांच, बांदा में तीन और जालौन में दो व्यक्ति की मौत हो गई। इनमें से ज्यादातर लोग किसी काम से बाहर निकले थे और रास्ते में ही अचेत होकर गिर गए। अस्पताल पहुंचने से पहले ही उनकी मौत हो गई। बहराइच में लू की चपेट में आने नानपारा व कैसरगंज तहसील क्षेत्र में दो लोगों की मौत हो गई। इसी तरह प्रयागराज में एक दरोगा समेत चार लोगों की जान चली गई। ग्रेटर नोएडा में मेरठ निवासी एक बुजुर्ग की लू लगने से मौत हो गई। बलिया में एक महिला की मौत हो गई। इसके अलावा वाराणसी में छह, मिर्जापुर में तीन, आजमगढ़, जौनपुर और सोनभद्र में एक-एक की मौत हुई है। हालांकि पोस्टमार्टम के बाद ही पता चल सकेगा की मौत की असल वजह क्या है।
मोहिनी दुबे हत्याकांड : जो चाहिए ले लीजिए, पर बक्श दो जान, हमने आप लोगों को खिलाया पिलाया है, फिर भी नहीं पसीजा आरोपियों का दिल 
लखनऊ । राजधानी में सेवानिवृत्त आईएएस देवेंद्र दुबे की पत्नी मोहिनी दुबे के हत्याकांड का खुलासा होने के बाद अब पकड़े गए तीनों आरोपी एक-एक करके अपना सारा राज खोल रहे है। पूछताछ में अब पता चला कि हत्या करने के बाद दौरान जब आरोपी अभिषेक और रंजीत ने मोहिनी देवी पर हमला बोला और गला दबाया तो वह उन दोनों से यही विनती करती रही कि हमने आप लोगों को खिलाया पिलाया है। घर में जो भी रखा है ले लीजिए, पर जान बक्स दीजिए। मोहिनी दुबे के मुंह से यह बात सुनने के बाद भी दोनों आरोपियों का दिल नहीं पसीजा और मौत होने तक वार करते रहे।

*हत्या करने के बाद अखिलेश ने खुद पुलिस चौकी जाकर दी सूचना*

इस पूरी वारदात सबसे चौकाने वाली बात यह रही कि हत्या करने बाद से वह पुलिस के सामने ही रहे। यहां तक कि मास्टरमाइंड और मोहिनी का गला कसने वाले अखिलेश ने खुद चौकी में जाकर पुलिस को सूचना दी, लेकिन पुलिस ने कदम-कदम के सीसीटीवी फुटेज जुटाकर और नीले रंग (एक ही कंपनी की) की एक हजार स्कूटी की पड़ताल कर कातिलों को बेनकाब कर दिया। हालांकि पुलिस सुराग न लगा सके। इसके लिए इन हत्यारोपियों से जितना हो सका उतना किया लेकिन उसमें नाकाम रहे।

*वारदात के दौरान मोबाइल का नहीं किया गया इस्तेमाल*

डीसीपी नॉर्थ अभिजीत आर शंकर के अनुसार आरोपियों ने वारदात के दौरान मोबाइल का इस्तेमाल नहीं किया। अखिलेश ने अपना मोबाइल घर पर छोड़ दिया था। रंजीत का मोबाइल उसकी पत्नी इस्तेमाल कर रही थी। जिससे जब उनकी लोकेशन देखी जाए तो पुलिस को संदेह न हो। वारदात को अंजाम देने के बाद अखिलेश और रंजीत सीधे अपने घर पहुंचे थे। इधर रवि ने जब अखिलेश को सूचना दी तो वह ऊपर वाली सफेद टी-शर्ट निकालकर मौके पर पहुंचा था। इसलिए घटनास्थल पर वह नीली टी-शर्ट में था। इससे अगर वह कहीं फुटेज में कैद हो तो पहचान न हो सके। तीनों में से कोई भी घर छोड़कर नहीं भागा। घटना की सूचना पर अखिलेश तुरंत मौके पर पहुंचा था।

*पोस्टमार्टम से लेकर अस्थि विसर्जन तक रहा साथ*

देवेंद्र गोल्फ खेलने के बाद ड्राइवर रवि के साथ घर पहुंचे थे। मोहिनी को मृत पड़ा देखकर रवि ने सबसे पहले भाई अखिलेश को फोन कर बुलाया था। अखिलेश ने मौके पर पहुंचकर 112 डायल किया। जब कॉल नहीं लगी तब रिंग रोड पुलिस चौकी पर पहुंचकर सूचना दी थी। यही नहीं, पोस्टमार्टम कराने से लेकर अस्थि विसर्जन तक में अखिलेश व रवि शामिल रहे। इतना ही नहीं हत्या के बाद घर पहुंचने पर खूब फूट फूटकर राेया। ताकि देवेंद्र और पुलिस को शक न हो।

*पहचान को छिपाने के लिए मोड़ दिया था स्कूटी का नंबर प्लेट*

वारदात के लिए जब दोनों आ रहे थे तब रास्ते में स्कूटी की नंबर प्लेट मोड़ दी थी। इससे फुटेज में वह न दिखे। नंबर प्लेट मोड़ते हुए फुटेज पुलिस को मिला है।जब पुलिस ने फुटेज देखी तो सबसे पहले स्कूटी पर दो युवक दिखे। दोनों हेलमेट लगाए थे। नीले रंग की स्कूटी की कंपनी का नाम साफ दिखा। उस कंपनी से हाल में बेची गई नीले रंग की स्कूटी की संख्या व विवरण मांगा। कंपनी ने एक हजार स्कूटी की डिटेल दी। इधर पुलिस ने फुटेज से आधा अधूरा नंबर चिह्नित किया। एक-एक कर आखिर में तीन स्कूटी चिह्नित की। इसमें एक कैंट घोसियाना के पते पर थी। जो रंजीत के नाम पर थी।पुलिस रंजीत नाम के शख्स के बारे में जानकारी जुटा ही रही थी कि तभी एक और फुटेज सामने आया जिसमें स्कूटी पर बैठे पीछे वाले बदमाश ने हेलमेट उतार रखा था। पुलिस ने इस फुटेज की तस्दीक रंजीत नाम के शख्स से कराई। जो पुख्ता निकली।

*रंजीत के भाई को उठाकर कड़ाई से पूछा तो उगल दिया सारा राज*

पुलिस को जब साफ हो गया कि स्कूटी रंजीत की थी और फुटेज में वही था। तब कॉल डिटेल निकाली। पता चला कि घटना के वक्त उसका मोबाइल घर पर ही था। इससे कुछ शक हुआ। जानकारी मिली कि रंजीत का भाई चोरी में जेल जा चुका है। तब पुलिस ने उसको उठाया। उसने कहा कि घटना में वह नहीं रंजीत है। तब पुलिस ने रंजीत को उठा लिया। उसने पूरी वारदात कुबूल ली। आखिर में अखिलेश व रवि को भी गिरफ्तार किया।जब सुबह सात बजे रवि कार से देवेंद्र को लेकर गोल्फ खेलने के लिए ले जा रहा था तो सोसाइटी के बाहर ही अखिलेश व रंजीत खड़े थे। फुटेज में देखा तो कार को देखकर अचानक से वह दोनों सक्रिय हो गए। तुरंत सोसाइटी की तरफ चले गए। ऐसा लगा कि उनको कुछ इशारा किया गया है। इससे बेहद अहम सुराग लगा था।

*पिछले शनिवार की सुबह बदमाशों ने हत्या के बाद की थी लूटपाट*

जानकारी के लिए आपको बता दें कि लखनऊ के इंदिरानगर के सेक्टर-20 में शनिवार सुबह बदमाशों ने दिनदहाड़े घर में घुसकर सेवानिवृत्त आईएएस देवेंद्र दुबे की पत्नी मोहिनी दुबे की हत्या कर लूटपाट की थी। देवेंद्र गोल्फ खेलकर घर पहुंचे तो पहली मंजिल पर पत्नी का शव पड़ा देखा। दुपट्टे से गला कसा था और सिर पर भारी चीज से वार किया गया था।पुलिस, डॉग स्क्वायड और फोरेंसिक टीम ने छानबीन की। वारदात के खुलासे के लिए पांच टीमों को लगाया गया था। सेवानिवृत्त आईएएस देवेंद्र दुबे की पहली पत्नी मीना का निधन हो चुका है।