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कुड़मी जाति को अनुसूचित जाति की सूची में शामिल करने के लिए पीएमओ ने मांगा रिपोर्ट,कुड़मी जाति को जगी उम्मीद

( डेस्क)

पिछले कुछ दिनों से झारखंड के कुड़मी ने अनुसूचित जाति के श्रेणी में शामिल करने की मांग को लेकर आंदोलन किया था जिसके कारण जन जीवन प्रभावित हुआ था।कुड़मी जाति की मांग थी कि झारखंड के कुड़मी 1931 से पूर्व अनुसूचित जाति के श्रेणी में रखा गया था।जिसे 1931 के जनगणना के बाद हटा दिया गया।इस लियेअब फिर उसे अनुसूचित जाति का दर्जा दिया जाए।इस मांग पर पीएमओ का ध्यान गया है।इसीलिए

 लोकसभा चुनाव से पहले झारखंड में रह रहे कुड़मी जाति के लोगों में उम्मीद की किरण जगी है। ऐसा इसलिए कि, झारखंड, पश्चिम बंगाल और ओडिशा (छोटानागपुर पठार) में कुड़मी जाति को अनुसूचित जाति में शामिल करने की मांग को लेकर प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) ने गंभीरता दिखायी है। 

झारखंड आंदोलनकारी सह पूर्व सांसद शैलेंद्र महतो ने प्रधानमंत्री को पत्र लिखकर कुड़मियों को आदिवासी का दर्जा देने की मांग की थी।

पीएमओ ने संज्ञान लेते हुए आदिवासी मंत्रालय को रिपोर्ट देने को कहा है। आदिवासी कल्याण मंत्रालय ने झारखंड, पश्चिम बंगाल व ओडिशा सरकार के अधिकारियों से इस संबंध में रिपोर्ट मांगी है। आदिवासी मंत्रालय ने झारखंड व ओडिशा के एसटी-एससी, माइनोरिटी एंड बैकवर्ड क्लास वेलफेयर डिपार्टमेंट के सचिव व बंगाल के बैकवर्ड क्लासेस वेलफेयर डिपार्टमेंट के प्रिंसपिल सेक्रेटरी को पत्र लिखा है।

शैलेंद्र महतो ने कहा है कि उन्हें उम्मीद है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मामले में गंभीरता दिखाते हुए इसका समाधान करेंगे। लोकसभा चुनाव के पहले कुड़मियों को आदिवासी बनाने के मामले को लेकर मांगी जा रही रिपोर्ट को लेकर राजनीतिक चर्चा भी शुरू हो गयी है।

शैलेंद्र महतो ने पीएम नरेंद्र मोदी को लिखे पत्र में कहा है कि अप्रैल-मई 2024 में चुनाव होने हैं। ऐसी परिस्थिति में कुड़मी समाज उनसे जानना चाहता है कि उनके तीसरे प्रधानमंत्री कार्यकाल में कुड़मी समाज की मांग का क्या होगी। यह उनके अस्तित्व-अस्मिता का मामला है। उनकी मांग संवैधानिक है, भाजपा इसे अपने चुनावी घोषणा-पत्र में शामिल कर इसका समाधान करें।

छोटानागपुर पठार, जिसमें झारखंड, पश्चिम बंगाल, ओडिशा के क्षेत्र आते हैं, इसमें कुड़मी जाति की आबादी 1.35 करोड़ से अधिक है। शैलेंद्र महतो ने कहा कि झारखंड में कुड़मी जनजाति की संख्या तकरीबन 20 प्रतिशत (लगभग 65 लाख) है। पश्चिम बंगाल में 40 लाख और ओडिशा में 30 लाख कुड़मी जाति के लोग रहते हैं।

झारखंड में कुड़मी-महतो जनजाति की संख्या अन्य जनजातियों से अधिक है। झारखंड की आठ लोकसभा सीटों रांची, जमशेदपुर, हजारीबाग, सिंहभूम, खूंटी, गिरीडीह, धनबाद, गोड्डा, पश्चिम बंगाल की चार लोकसभा सीटों पुरुलिया, बांकुड़ा, झाड़ग्राम, पश्चिम मेदिनापुर और ओडिशा की चार लोकसभा सीटों मयूरभंज, बालेश्वर, क्योंझर, सुंदरगढ़ में कुड़मी आबादी निवास करती है।

झारखंड की 81 विधानसभा क्षेत्रों में से 36 में कुड़मी अपनी निर्णायक भूमिका निभाते हैं। इसमें मनोहरपुर (एसटी), चक्रधरपुर (एसटी), खरसावां (एसटी), सरायकेला (एसटी), जगन्नाथपुर (एसटी), पोटका (एसटी), घाटशिला (एसटी), जुगसलाई (एसटी), बहरागोड़ा, ईचागढ़, तमाड़ (एसटी), खिजरी (एसटी), कांके (एससी), सिल्ली, हटिया, रामगढ़, बगोदर, मांडू, टुंडी, गोमिया, बड़कागांव, हजारीबाग, डुमरी, बेरमो, बाघमारा, सिमरिया, चंदनक्यारी (एससी), बोकारो, सिंदरी, देवघर, पांकी, महगामा, गोड्डा, पौड़ेयाहाट, झरिया, धनबाद शामिल है।

अल्टीमेटम : प्रशासन द्वारा बाजार समिति के 7 गोदाम और 18 दुकाने 24 घंटे में खाली करने का दिया नोटिस

धनबाद : बाजार समिति प्रशासन ने व्यापारियों को 24 घंटे के अंदर सात गोदाम और 18 दुकानें खाली करने का अल्टीमेटम दिया है। ऐसा न करने पर आवंटन रद्द करने की चेतावनी दी गई है।

बाजार समिति प्रशासन ने सोमवार को चिह्नित गोदामों व दुकानों के प्रबंधकों को नोटिस जारी किया है। बाजार समिति प्रशासन के अनुसार लोकसभा चुनाव को लेकर बाजार समिति परिसर में स्ट्रांग रूम बनाया जायेगा। जिला प्रशासन द्वारा एक अप्रैल 2024 से बाजार समिति परिसर के सात गोदाम एवं 18 दुकानों का अधिग्रहण कर लिया गया है।

यहां 6 जून 2024 तक चुनावी कार्रवाई चलेगी। इसी आलोक में बाजार समिति प्रशासन की ओर से गोदाम व दुकानें खाली करने के लिए पहले भी दो बार नोटिस जारी किया जा चुका है। फिर भी गोदामों व दुकानों को खाली नहीं कराया गया, जो अनुशासनहीनता है। 

सोमवार को अंतिम नोटिस जारी कर चेतावनी दी गयी है कि अगर गोदाम व दुकानें खाली नहीं की गयीं तो आवंटन रद्द कर दिया जायेगा और दुकानें व गोदाम खाली कराकर लोकसभा आम चुनाव 2024 के लिए जिला निर्वाचन पदाधिकारी सह उपायुक्त को हस्तांतरित कर दिया जायेगा। जिन गोदामों को खाली करने का नोटिस दिया गया है उनमें रुचि सोया, अदानी विल्मर, भीम सरिया एंड संस, महावीर मार्केटिंग, गणपति एंटरप्राइजेज और सारदा ट्रेडिंग और एक अन्य गोदाम शामिल हैं।

नोटिस से व्यापारियों में हड़कंप

गोदाम खाली नहीं करने पर बाजार समिति द्वारा आवंटन रद्द करने की सूचना से व्यापारियों में हड़कंप मच गया है।उनका कहना है कि प्रशासन से रामनवमी तक गोदाम व दुकानें खाली कराने का अनुरोध किया गया था, लेकिन 24 घंटे में खाली कराना काफी मुश्किल है. फिलहाल तीन गोदामों और कुछ दुकानों को खाली कराने का प्रयास किया जा रहा है, बाकी को रामनवमी तक खाली कराने के लिए प्रशासन से दोबारा अनुरोध किया जाएगा।

वैकल्पिक भंडारण प्रणालियों की मांग :

बाजार समिति चैंबर ने कहा कि जिला प्रशासन से बिरसा मुंडा खेल छात्रावास एवं मेगा स्पोर्ट्स में गोदाम एवं दुकान का सामान रखने के लिए जगह उपलब्ध कराने की मांग की गयी थी। प्रशासन ने सकारात्मक पहल का आश्वासन दिया. अब अचानक दुकानें और गोदाम खाली करने के 24 घंटे के नोटिस के बाद व्यापारियों की मुश्किलें बढ़ गई हैं. कहां रखें इतना सामान? इसको लेकर असमंजस की स्थिति है।

आज ही के दिन 1667 में मुगल बादशाह औरंगजेब ने सभी हिन्दू स्कूलों और मंदिरों को ध्वस्त करने का दिया था आदेश

नयी दिल्ली :आज के प्रत्येक दिन विश्व में कुछ न कुछ ऐसा होता है जो की एक महत्वपूर्ण इतिहास बन जाता है जैसे, खेल जगत में रिकॉर्ड बनना, किसी प्रसिद्द व्यक्ति का जन्म व् मृत्यु, आज के दिन के महत्वपूर्ण दिवस, विज्ञान में अविष्कार, आदि । भारत और विश्व में आज के दिन बहुत सी ऐसी प्रमुख ऐतिहासिक घटनायें हुई जिनका जिक्र आज भी इतिहास के पन्नो में किया गया है

1667-मुगल बादशाह औरंगजेब ने सभी हिन्दू स्कूलों और मंदिरों को ध्वस्त करने का आदेश दिया।

1756-बंगाल के नवाब अली बर्दी खान का 80 साल की आयु में निधन।

1860-पहली बार मनुष्य की आवाज़ का अंकन किया गया।

1893-हिन्दी के एक प्रमुख साहित्यकार राहुल सांकृत्यायन का जन्म।

1933-कन्नड़ सिनेमा की प्रसिद्ध भारतीय अभिनेत्री प्रतिमा देवी का जन्म।

1948 -भारतीय फिल्म अभिनेत्री जया बच्चन का जन्म।

1965-कच्छ के रन में भारत-पाक में युद्ध छिड़ा।

1981-प्रथम महिला नेता दुर्गाबाई देशमुख का निधन।

1988-ली पेंग चीन के प्रधानमंत्री बने।

1989-एशिया की पहली सम्पूर्ण भूमिगत संजय जलविद्युत परियोजना शुरू की गयी।

1998-सऊदी अरब में मीना के पास भगदड़ में 150 से अधिक यात्रियों की मृत्यु।

1999-नाइजर के राष्ट्रपति इब्राहिम बारे मैनसारा की हत्या, खालसा पंथ की त्रिशती पर विशेष डाक टिकट जारी।

2002-बहरीन में निगम चुनाव में महिलाओं को भी भाग लेने की छूट मिली।

2003-स्टीव वॉ सर्वाधिक टेस्ट (157) खेलने वाले खिलाड़ी बने।

2004-ईराक में संघर्ष तेज़ अमेरिकी काफ़िले पर हमले में 9 लोगों की मृत्यु।

2004-पुर्तग़ाल के सर्वोच्च न्यायालय ने भारत के कई आपराधिक मामलों में वांछित माफिया सरगना अबू सलेम के भारत प्रत्यर्पण सम्बन्धी आदेश की पुन: समीक्षा करने को कहा।

2005-ब्रिटेन के युवराज चार्ल्स का विवाह कैमिला के साथ सम्पन्न।

2006-यूरेनस ग्रह के चारों ओर शनि जैसा वलय होने की पुष्टि। पाकिस्तान के राष्ट्रपति जनरल परवेज मुशर्रफ़ ने 2007 के चुनावों के बाद भी अपने पद बने रहने की घोषणा की।

2008-उत्तर प्रदेश सरकार ने दलिया व कॉपियों समेत डेढ़ दर्जन वस्तुओं को वैट से मुक्त किया।

2009-प्रसिद्ध फ़िल्म निर्माता एवं निर्देशक शक्ति सामंत का निधन।

2010-जम्मू-कश्मीर की विधानसभा में अंतर ज़िला भर्तियों पर पाबंदी लगाए जाने संबंधी विवादित विधेयक पारित हो गया।

2011-सरकार द्वारा लोकपाल कानून बनाने की मांग मान लेने के बाद अन्ना हजारे ने 95 घंटे से जारी अपना आमरण अनशन समाप्त कर दिया।

2013-फ्रांसिसी सीनेट ने समलैंगिक विवाह के लिए एक विधेयक को मंजूरी दी।

मौसम चेतावनी : 9 से 11 अप्रैल के दौरान इन जिलों में हो सकती है बारिश एवं ओला वृष्टि

अप्रैल के लिए वर्षा का पूर्वानुमान। अभी जहां देश के कई राज्यों में तेज गर्मी का दौर शुरू हो गया है तो वहीं कुछ राज्यों में अभी भी बारिश एवं ओलावृष्टि का दौर जारी है। बीते कुछ दिनों में मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान सहित देश के कई राज्यों में वर्षा दर्ज की गई है वही कुछ स्थानों पर ओला वृष्टि भी देखी गई है। इस क्रम में भारतीय मौसम विज्ञान विभाग IMD ने आगे भी 9 से 12 अप्रैल एवं 13 से 14 अप्रैल के दौरान देश के कई राज्यों में अलग–अलग दिनों के दौरान बारिश एवं ओला वृष्टि के लिए चेतावनी जारी की है।

मौसम विभाग के मुताबिक़ आने वाले दिनों में मध्यप्रदेश, विदर्भ, छत्तीसगढ़, मराठवाड़ा, मध्य महाराष्ट्र, उड़ीसा, गंगीय पश्चिम बंगाल, झारखंड एवं उत्तर प्रदेश राज्यों में अलग–अलग दिनों के दौरान कई स्थानों पर तेज हवाओं के साथ बारिश हो सकती है। वही मौसम विभाग ने कुछ स्थानों पर ओलावृष्टि की भी चेतवानी जारी है। इसके अलावा समुद्र से सटे दक्षिण भारतीय राज्यों एवं पूर्वोतर राज्यों में भी इस दौरान बारिश का दौर जारी रहने का अनुमान है।

भाजपा से 3 मज़बूत महिला शख्शियत झारखंड के चुनावी समर में,गठबंधन की भी है तैयारी,महिला मतदाताओं के लिए है बड़ी चुनौती

 

झारखंड डेस्क

झारखंड के चुनावी जंग इस बार बहुत ही रोचक और बहुत महत्वपूर्ण है।वह इस लिए भी की यह पहला मौका है जब भाजपा ने इस बार इस चुनावी समर में तीन महिलाओं को उतारा है।ये तीनो महिलाएं झारखंड की राजनीति में मील के पत्थर साबित होंगी। ये तीनो महिलाएं शक्तिशाली है,झारखंड की राजनीतिक हलकों में इनकी मज़बूत पकड़ है।और तीनों की जीत भी लगभग पक्की मानी जाती है।

इस बार झारखंड की राजनीति में यह महिला उम्मीदवार और महिला मतदाता, दोनों की अहम भूमिका होने जा रही है। 

इस चुनावी जंग में महिला नेताओं के लिए भी बड़ा इम्तिहान भी है।भजपा ने जिन तीन महिलाओं को उम्मीदवार बनाया है।उसमे अनपूर्णा देवी भाजपा से वर्तमान सांसद और केंद्र में मंत्री हैं।लेकिन दूसरी तरफ ये तीनो महिलाएं दूसरी पार्टी की मज़बूत शख्शियत रही है।अनपूर्णा देवी पहले राजद में थी।विंधानसभा का चुनाव जीतती रही और सयुंक्त बिहार में और झारखंड अलग होने के बाद झारखण्ड में मंत्री भी रही।पिछले चुनाव में भाजपा इन्हें पार्टी का हिस्सा बनाने में सफल रही।और ये चुनाव जीत कर लोकसभा गयी।मंत्री भी बनी।इस बार फिर कोडरमा से ये चुनाव मैदान में हैं।

इसी तरह भाजपा ने इस बार गीता कोड़ा और सीता सोरेन को अपने पार्टी में लाने में सफल रही।गीता कोड़ा पूर्व मुख्यमंत्री मधु कोड़ा की पत्नी और सिंहभूम से कांग्रेस की सांसद हैं।ये मज़बूत जनाधार वाली नेता मानी जाती है। 2019 के लोकसभा में इन्होंने मोदी लहर में भी झारखंड में कांग्रेस की इज्जत बचाई।और एक मात्र सिंहभूम की सीट जीत कर लोकसभा में गयी।लेकिन झारखंड में कांग्रेस के मठाधीशों के वर्चस्व और लगातार इस महत्वपूर्ण सांसद की उपेक्षा ने भाजपा के दामन थमने के लिए इन्हें बाध्य कर दिया।आज ये भाजपा की हिस्सा बन गयी।

तीसरी महत्वपूर्ण महिला नेता सीता सोरेन है जो लगातार तीन बार विधायक रही, शिबू सोरेन परिवार की बहू है,लेकिन इनका भी आरोप है कि तीन बार विधायक रहने के बाद भी उनकी पार्टी उन्हें मंत्री नही बनाया।परिवार और पार्टी की उपेक्षा से त्रस्त होकर ये भाजपा की हिस्सा बनी।और भाजपा ने इन दोनों को बहु सम्मान देते हुए गीता को सिंहभूम और सीता को दुमका से टिकट दिया। अब इस समर में ये अपनी जीत के लिए जनता के बीच जा रही है।

भाजपा के इस कदम के बाद विपक्षी इंडिया गठबंधन ने भी एक महिला प्रत्याशी को मैदान में उतारा है। इसके अतिरिक्त दो अन्य सीटों पर महिला नेताओं की उम्मीदवारी पर विचार चल रहा है। इंडिया गठबंधन की ओर से राज्य की 14 में से सात सीटों पर प्रत्याशी का ऐलान अब तक नहीं हुआ है। इनमें से दो सीटों पर महिला प्रत्याशी उतर सकती हैं। गोड्डा में कांग्रेस की ओर से दीपिका पांडेय सिंह और जमशेदपुर में झामुमो की ओर से स्नेहा महतो की उम्मीदवारी पर विचार चल रहा है। ऐसा हुआ तो राज्य के इतिहास में पहली बार होगा, जब दो प्रमुख सियासी गठबंधनों की ओर से तीन-तीन महिला प्रत्याशी मैदान में होंगी।

झारखंड बनने के बाद अब तक तीन महिलाएं लोकसभा पहुंच पाई हैं। वर्ष 2004 में कांग्रेस की सुशीला केरकेट्टा ने खूंटी लोकसभा सीट से जीत दर्ज की थी। 2019 में कोडरमा से अन्नपूर्णा देवी और सिंहभूम से गीता कोड़ा विजयी हुई थीं।

झारखंड में चार लोकसभा सीट ऐसी हैं जिन पर आदिवासी महिला मतदाता निर्णायक भूमिका निभाएंगी क्योंकि यहां महिलाओं की संख्या पुरुषों से अधिक है। झारखंड की राजमहल, सिंहभूम, खूंटी और लोहरदगा लोकसभा सीट अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित हैं।

खूंटी लोकसभा सीट पर कुल 6,67,946 महिला मतदाता हैं। खूंटी सीट का प्रतिनिधित्व बीजेपी के वरिष्ठ नेता और केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा करते हैं। पार्टी ने फिर उन्हें इस सीट से प्रत्याशी बनाया है. सिंहभूम लोकसभा सीट पर 7,27,734 महिला और 7,05,167 पुरुष मतदाता हैं।

उधर, राजद ने पलामू सीट पर ममता भुइयां को प्रत्याशी बनाया है. वह महीने भर पहले तक भाजपा में थीं। उनका ताल्लुक भी सियासी परिवार से है। वह जुगसलाई विधानसभा क्षेत्र से कई बार विधायक रहे दुलाल भुइयां के भाई की पत्नी हैं।यहां उनका मुकाबला भाजपा के दो बार के सांसद बीडी राम से होगा।

अब देखना है कि इस बार कितनी महिलाएं झारखंड से लोकसभा जा पाती है और झारखंड के महिलाओं का प्रतिनिधित्व कर पाती है या नही।

जिला निर्वाचन पदाधिकारी सह उपायुक्त माधवी मिश्रा ने किया मटेरियल कोषांग का निरीक्षण


धनबाद :आज दिनांक 08 अप्रैल 2024 को जिला निर्वाचन पदाधिकारी सह उपायुक्त सुश्री माधवी मिश्रा ने आसन्न लोकसभा चुनाव 2024 के निमित्त गोल्फ ग्राउंड के समीप विवाह भवन में स्थित मटेरियल कोषांग का निरीक्षण किया।

निरीक्षण के दौरान उपायुक्त ने मटेरियल कोषांग के वरीय पदाधिकारी सह अपर समाहर्ता श्री विनोद कुमार को युद्ध स्तर पर कार्य जारी रखने के निर्देश दिए। साथ ही उन्होंने कहा कि सभी कार्य सिस्टमैटिक तौर पर करें एवं सामग्री कोषांग में जिस भी सामग्री की कमी है उसे अभिलंब निर्वाचन शाखा से डिमांड करते हुए प्राप्त करें। उन्होंने कहा कि हर हफ्ते वह मटेरियल कोषांग का निरीक्षण किया जाएगा, इसलिए कार्य में किसी भी प्रकार की कोई कोताही एवं लापरवाही नहीं बरतेंगे।

इस दौरान उपायुक्त सुश्री माधवी मिश्रा, अपर समाहर्ता श्री विनोद कुमार, कृषि पदाधिकारी श्री शिव कुमार राम, जिला पंचायती राज पदाधिकारी श्री मुकेश कुमार बाउरी, ऑफिस असिस्टेंट डीआरडीए श्री संतोष कुमार गुप्ता, भी थे।

झरिया के दो बूथों पर कब्जा देख भड़की एडीएम, खाली कराने का दिया निर्देश

धनबाद : निष्पक्ष चुनाव कराने को लेकर जिला प्रशासन पूरी तरह से कटिबद्ध है। रविवार को धनबाद के एडीएम लॉ इन ऑडर हेमा प्रसाद झरिया पहुंची। झरिया विधान सभा क्षेत्र के विभिन्न संवेदनशील एवं अतिसंवेदनशील बूथों का निरीक्षण किया।

निरीक्षण के दौरान ऐसे दो बूथ पाए गए जहां पर किसी का परिवार रह रहा है या फिर किसी संवेदक के गोदाम बना हुआ है। यह देखते ही एडीएम भड़क उठी। तत्काल दोनों ही बूथ स्थल को खाली कराने का निर्देश दिया। उन्होंने कहा कि चुनाव नजदीक है। ऐसे में बूथ का कमरा खाली रहना चाहिए। ताकि बीएलओ पहुंचकर मतदान सम्बंधित कार्य कर सके।

 साथ साथ बूथ पर पानी बिजली व शौचालय की व्यवस्था को भी देखा। साथ ही सम्बंधित अधिकारी को निर्देश दिया कि उसे अविलंब ठीक करवाए।उन्होंने जामाडोबा आलम नगर बूथ नंबर 142, रमजानपुर 167 नंबर बूथ,बरारी स्कूल 263, 264, 265, 266, बरारी सराफतपुर में बूथ नंबर 256 सहित अन्य बूथों का निरीक्षण किया। उनके साथ झरिया सीओ राम सुमन प्रसाद, बलियापुर सीओ सुदीप कुमार, कार्यपालक दंडाधिकारी सत्यनारायण राम ,सुपरवाइजर विपिन चौहान आदि थे।

पानी की किल्लत को लेकर ग्रामीणों ने खाली बर्तन लेकर पंचायत भवन में किया प्रदर्शन

धनबाद : डोलाबाद पंचायत में नल जल योजना के तहत पानी नहीं मिलने से क्षुब्ध पंचायत क्षेत्र के ग्रामीणों ने रविवार को मुलिया सुनीता मलिक के नेतृत्व में पंचायत भवन के सामने खाली बर्तनों के साथ विरोध प्रदर्शन किया.

पेयजल एवं स्वच्छता विभाग के खिलाफ नारे लगाये गये. ग्रामीणों का कहना है कि जब से इस पंचायत में नल जल योजना के तहत पाइप लाइन बिछायी गयी है, तब से तीन-चार दिनों से गांव में पानी नहीं आ रहा है.

ग्रामीणों के अनुसार इस पंचायत के दोलाबाद, ददाहा व मोको को नल योजना के तहत पानी नहीं मिल रहा है. 10 हजार लोग इससे प्रभावित हैं. इससे गुस्साए ग्रामीणों ने खाली बर्तन लेकर पंचायत भवन के सामने प्रदर्शन किया। ग्रामीणों ने कहा कि अगर जल्द से जल्द पंचायत में नल जल योजना के तहत पानी उपलब्ध नहीं कराया गया तो ग्रामीण प्रखंड कार्यालय व जिला मुख्यालय पर धरना देने को बाध्य होंगे. इस अवसर पर प्रमुख सुनीता मल्लिक, उपप्रमुख जय बनर्जी, वार्ड सदस्य हेमलाल टुडू, बंगाली हेम्ब्रम, लक्ष्मी कुमारी आदि उपस्थित थे.

हज़ारीबाग लोकसभा सीट: क्या भाजपा के गढ़ में जेपी भाई पटेल कांग्रेस का झंडा.लहरा पायेंगे..?जानिए हज़ारीबाग का संसदीय इतिहास...!

झारखंड डेस्क

हज़ारीबाग लोकसभा सीट पर इस बार दो दिग्गज आमने सामने है। एक तरफ भाजपा की ओर से सदर विधायक मनीष जयसवाल और दूसरी तरफ कांग्रेस से मांडू विधायक जयप्रकाश भाई पटेल।वैसे जयप्रकाश भाई पटेल स्व टेकलाल महतो के राजनीतिक विरासत को संभाल रहे हैं।और वर्तमान में भाजपा के मांडू विधायक थे। जब हज़ारीबाग से मनीष जयसवाल को भाजपा से लोकसभा की टिकट मिल गयी तो उन्होंने पार्टी छोड़कर कांग्रेस में शामिल हो गए और कांग्रेस उन्हें हज़ारीबाग लोकसभा सीट से टिकट दे दी है।अब सवाल उठता है कि क्या जेपी भाई पटेल इस सीट पर मनीष जयसवाल को शिकस्त देकर कांग्रेस कझण्डा लहरा पाएंगे।

यूं तो हज़ारीबाग लोस से भाजपा सात बार चुनाव जीतती आ रही है। हजारीबाग सीट से सबसे पहले भाजपा ने 1989 में अपनी जीत का खाता खोला था। उस चुनाव में भाजपा प्रत्याशी यदुनाथ पाण्डेय ने 2,33,060 मत हासिल कर सीपीआई के भुवनेश्वर प्रसाद मेहता को 43,419 मत के अंतर से पराजित कर पार्टी को पहली जीत दिलाई थी।

हज़ारीबाग पर बना रहा भाजपा का दबदबा

इसके बाद 1991 एवं 2004 में हुए दो लोस चुनाव को अगर छोड़ दें तो बाकी सभी चुनावों में भाजपा की जीत हुई। 

इसके दो साल बाद 1991 में हुए चुनाव में सीपीआई के भुवनेश्वर प्रसाद मेहता ने 1,71,725 मत हासिल कर भाजपा के यदुनाथ पाण्डेय को 24,681 मतों के मामूली अंतर से पराजित कर विजयी हुए थे।

सीपीआई से हुई इस जीत को भुवनेश्वर मेहता कायम नहीं रख सके। 1996 में हुए चुनाव में भाजपा के महावीर लाल विश्वकर्मा ने 2,37,357 मत प्राप्त कर 71, 251 मतों के अंतर से सीपीआई के भुवनेश्वर प्रसाद मेहता को पराजित कर दिया।

भाजपा प्रत्‍याशी की लगातार होती रही जीत

1998 के चुनाव में भाजपा ने महावीर लाल विश्वकर्मा के जगह यशवंत सिन्हा का चुनावी मैदान में उतारा। वे 3,23, 283 वोट प्राप्त कर भुवनेश्वर प्रसाद मेहता को 1,63,506 मतों से पराजित किया । 1999 के चुनाव में भी यशवंत सिन्हा ने 2,83,956 मत प्राप्त कर आरजेडी प्रत्याशी अकलू राम महतो को 1,82,642 मतों से पराजित करने में सफल रहे।

इसके बाद के 2004 के आम चुनाव में यशवंत सिन्हा की जीत पर ब्रेक लगाने में सीपीआई के भुवनेश्वर प्रसाद मेहता सफल हो गए।

उन्होंने 3,56,058 मत हासिल कर भाजपा के श्री सिन्हा को 1,05,328 मतों से हरा कर सांसद चुने गए। बाद के आम चुनावों में श्री सिन्हा एवं उनके पुत्र की जीत बतौर भाजपा प्रत्याशी दर्ज होती रही।

कांग्रेस को इस सीटपर लगातार करना पड़ा हार

2009 के लोकसभा चुनाव में भाजपा के टिकट पर चुनाव मैदान में पुनः यशवंत सिन्हा को उतारा गया। उन्होंने 2,19,810 मत प्राप्त कर कांगेस के सौरभ नारायण सिंह को 40,164 मतों के अंतर हराने में सफल हुए।

2014 के आम चुनाव में भाजपा ने श्री सिन्हा की जगह उनके पुत्र जयंत सिन्हा को चुनाव मैदान में उतारी। जयंत सिन्हा ने भी 4,06,931 मत प्राप्त कर कांग्रेस के सौरभ नारायण सिंह को 1,59108 मतों से पराजित करने में सफल हुए। 2019 के आम चुनाव में भी जयंत सिन्हा ने पुर्व की जीत के सारे रिकार्ड तोड़ते हुए 7,28,798 मत प्राप्त कर कांग्रेस के गोपाल प्रसाद साहू को 4,79,548 के बड़े अंतर से पराजित कर विजयी हुए थे।

इसके पूर्व के चुनाव में 1984 में कांग्रेस के दामोदर पाण्डेय ने सीपीआई के मेहता को, 

1980 में जनता पार्टी के कुंवर बसंत नारायण सिंह ने कांग्रेस के अजीमा हुसैन को, 

1977 में जनता पार्टी के कुंवर बसंत नारायण सिंह ने कांग्रेस के दामोदर पाण्डेय को पराजित कर जीत दर्ज की थी। 1971 में दामोदर पाण्डेय विजयी हुए थे।

हजारीबाग से अब तक चुने गए सांसदों की सूची

1952 - छोटानागपुर संथाल परगना जनता पार्टी के

 रामनारायण सिंह 

1957- छोटानागपुर संथाल परगना जनता पार्टी के ललिता राजे लक्ष्मी 

1962- स्वतंत्र पार्टी के कुंवर बसंत नारायण सिंह

 1967- निर्दलीय के कुंवर बसंत नारायण सिंह 

1968 ’ झारखंड पार्टी के मोहन सिंह ओबेराय 

1971- कांग्रेस के दामोदर पाण्डेय 

1977 - जनता पार्टी के कुंवर बसंत नारायण सिंह

 1980 - जनता पार्टी के कुंवर बसंत नारायण सिंह 

1984- कांग्रेस के दामोदर पाण्डेय 

1989- भाजपा के यदुनाथ पाण्डेय 

1991- भाकपा के भुवनेश्वर प्रसाद मेहता 

1996- भाजपा के महावीर लाल विश्वकर्मा

 1998- भाजपा के यशवंत सिन्हा 

1999 -यशवंत सिन्हा 

2004 - भाकपा के भुवनेश्वर प्रसाद मेहता 

2009- भाजपा के यशवंत सिन्हा

 

2014 भाजपा के जयंत सिन्हा 

2019- भाजपा के जयंत सिन्हा

झारखंड के मौसम में आया बदलाव,गर्मी से मिली राहत,जानिए मौसम का हाल...!

झारखंड में मौसम का बदलाव से लोगों को गर्मी से काफी राहत मिली है। आज सोमबार को भी सुबह से ही आसमान में बादल छाए हुए है राजधानी रांची में देर रात तेज हवा के साथ जोरदार बारिश हुई थी। हवा की गति करीब 50 किमी प्रतिघंटे रही। मौसम में बदलाव से लोगों को राहत मिली है।

 क्या कहता है मौसम विभाग..?

मौसम विभाग (IMD) के अनुसार, राज्यभर में अगले तीन दिनों तक आंधी-बारिश और कहीं-कहीं वज्रपात का यलो अलर्ट जारी किया गया है। आंधी की रफ्तार 30 से 40 किमी प्रतिघंटे रह सकती है।

तापमान में गिरावट, मिली गर्मी से राहत

इधर, रविवार को रांची समेत गुमला, पूर्वी सिंहभूम, धनबाद और हजारीबाग में हल्की बारिश हुई। पूर्वी सिंहभूम में 3.8 मिमी बारिश हुई। मौसम के इस बदलाव से तापमान में पांच डिग्री तक गिरावट आई है। रांची का तापमान गिरकर 33.8 डिग्री पर आ गया। जमशेदपुर और मेदिनीनगर के तापमान में भी गिरावट दर्ज की गई। हालांकि गोड्डा व जामताड़ा का तापमान 40 डिग्री से अधिक रहा।

और तापमान में आ सकती है कमी

रांची मौसम वैज्ञानिक अभिषेक आनंद ने बताया, रांची समेत झारखंड के विभिन्न जिलों में रविवार को बादल छाए रहे। बूंदाबांदी और बारिश से अधिकांश जिलों के तापमान में कमी आई है। हवा के रुख में आए बदलाव से राज्य में अगले तीन दिनों तक आंधी और बारिश होने के आसार हैं। इससे तापमान और नीचे जाएगा।

रविवार को भी हुई राँची में बारिश

रांची में रविवार को अलसुबह 3:30 बजे हुई 10 से 15 मिनट की बारिश और चल रही हवाओं ने लोगों को गर्मी से थोड़ी राहत पहुंचाई है। रांची में दिनभर बादल छाये रहे और बूंदाबांदी होती रही। शाम 7:30 बजे बाद 40 से 50 किमी की रफ्तार से हवा चली तो इस बीच करीब एक घंटे तक रुक-रुक कर बारिश होती रही।

मौसम में बदलाव होने के कारण सामान्य से ऊपर चल रहा अधिकतम तापमान अब इससे नीचे आ गया है। यहां का न्यूनतम तापमान 23.3 डिग्री दर्ज किया गया है। हालांकि, सामान्य से दो डिग्री अधिक है। अगले तीन दिन बादल छाए रहने और बारिश से न्यूनतम तापमान में एक से दो डिग्री तक कमी आने आ सकती है।

 *क्यों आया मौसम में बदलाव..?

मौसम विभाग के अनुसार, हवा के रुख में आ रहे बदलाव और वातावरण में नम हवाओं के आने से यह परिवर्तन हुआ है। इसके अलावा उत्तर प्रदेश के पश्चिमी और उत्तरी इलाकों में पश्चिमी विक्षोभ के कारण एक साइक्लोनिक सर्कुलेशन बन गया है। इन दोनों सिस्टम के कारण मौसम ने करवट लिया है।