केंद्र ने वक्फ अधिनियम कानून का किया बचाव, सुप्रीम कोर्ट में दायर किया हलफनामा

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केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में वक्फ संशोधन कानून का बचाव कया है। केन्द्र ने वक्फ कानून के खिलाफ दायर याचिकाओं पर अपना जवाब दाखिल किया है। वक्फ कानून में लाए गए संशोधनों का बचाव करते हुए, केंद्र ने शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट द्वारा धर्म और संपत्ति के आधार पर चुनौतियों की सुनवाई के दौरान प्रावधानों पर किसी भी अंतरिम रोक के खिलाफ तर्क दिया। सरकार ने कहा है कि अदालत वक्फ मामले पर अंतरिम रोक न लगाते हुए पूरी सुनवाई कर अंत में कोई फैसला ले।

याचिकाओं में लगाए गए सभी आरोपों को नकारा

केंद्रीय अल्पसंख्यक मामलों के मंत्रालय ने सर्वोच्च अदालत में हलफनामा दायर किया है जिसमें अदालत में दायर याचिकाओं में लगाए गए सभी आरोपों को नकारा है। केंद्र ने कहा कि याचिकाएं इस झूठे आधार के साथ लगाई गई हैं कि संशोधन धार्मिक स्वतंत्रता के मौलिक अधिकारों को छीन लेंगे। सुप्रीम कोर्ट विधायी क्षमता, अनुच्छेद 32 के तहत मौलिक अधिकारों के उल्लंघन के आधार पर कानून की समीक्षा कर सकता है। संसदीय पैनल की ओर से व्यापक, गहन, विश्लेषणात्मक अध्ययन के बाद संशोधन किया गया है। केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में हलफनामा दायर कर वक्फ (संशोधन) अधिनियम, 2025 की वैधता के खिलाफ याचिकाओं को खारिज करने की मांग की।

संसद से पारित कानून पर रोक लगाना ठीक नहीं

केंद्र ने अधिनियम के किसी भी प्रावधान पर रोक लगाने का विरोध करते हुए कहा, कानून में यह स्थापित स्थिति है कि संवैधानिक अदालतें किसी वैधानिक प्रावधान पर प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से रोक नहीं लगाएंगी। अदालतें मामले पर अंतिम रूप से निर्णय लेंगी। सरकार ने कहा है कि सर्वोच्च न्यायालय के पास संवैधानिकता को जांचने की ताकत है लेकिन संसद ने जिस कानून को पारित किया है, उस पर रोक लगाना ठीक नहीं है।

'वक्फ-बाय-यूजर' पर बोली सरकार

केंद्र ने कहा कि वक्फ-बाय-यूजर को वैधानिक संरक्षण से वंचित करने से मुस्लिम समुदाय के किसी व्यक्ति को वक्फ बनाने से वंचित नहीं किया जा सकता है। यहां एक जानबूझकर, उद्देश्यपूर्ण और भ्रामक कहानी बहुत ही शरारती तरीके से बनाई गई है, जिससे यह धारणा बनाई गई है कि जिन वक्फों ('वक्फ-बाय-यूजर' सहित) के पास अपने दावों का समर्थन करने के लिए दस्तावेज नहीं हैं, वे प्रभावित होंगे। यह न केवल असत्य और गलत है, बल्कि जानबूझकर इस अदालत को गुमराह करने वाला है।

पिछली सुनवाई में क्या हुआ?

इस महीने की शुरुआत में, सुप्रीम कोर्ट ने 'वक्फ बाय यूजर' को हटाने, वक्फ बोर्ड में गैर-मुस्लिमों को शामिल करने और विवादित सरकारी भूमि पर वक्फ की स्थिति निर्धारित करने के मामले में कलेक्टर की शक्तियों पर चिंता जताई थी। भारत के मुख्य न्यायाधीश संजीव खन्ना ने अधिनियम के कुछ प्रावधानों को चिह्नित करते हुए कहा था कि हम आम तौर पर चुनौती के इस चरण में किसी कानून पर रोक नहीं लगाते हैं, जब तक कि असाधारण परिस्थितियों में ऐसा न हो। यह एक अपवाद प्रतीत होता है। हमारी चिंता यह है कि अगर वक्फ-बाय-यूजर को गैर-अधिसूचित किया जाता है, तो इसके बहुत बड़े परिणाम हो सकते हैं।

पाकिस्तानियों की पहचान कर जल्द वापस भेजें”, अमित शाह का सभी राज्यों के सीएम को निर्देश

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भारत द्वारा पाकिस्तानी नागरिकों के लिए सभी मौजूदा वीजा रद्द करने के एक दिन बाद, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने शुक्रवार को सभी मुख्यमंत्रियों को पड़ोसी देश के नागरिकों की पहचान करने और उन्हें अपने-अपने राज्यों से तुरंत हटाने का निर्देश दिया। शीर्ष अधिकारियों के साथ एक उच्च स्तरीय बैठक के बाद, अमित शाह ने सभी राज्यों के मुख्यमंत्रियों को उन्हें निर्वासित करने के लिए तत्काल कदम उठाने का निर्देश दिया।

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह सभी राज्य के मुख्यमंत्रियों से बात की। उन्होंने सभी से अपने-अपने राज्यों में सभी पाकिस्तानी नागरिकों की पहचान करने और उनकी शीघ्र पाकिस्तान वापसी सुनिश्चित करने के लिए कदम उठाने को कहा। शाह ने कई मुख्यमंत्रियों से बात कर ली है और बाकियों से भी वे बात कर रहे हैं।

पहलगाम आतंकी हमलों के मद्देनजर, भारत ने सभी पाकिस्तानी नागरिकों को 27 अप्रैल तक भारत छोड़ने के लिए कहा। केंद्र ने आगे कहा कि मेडिकल वीजा वाले पाकिस्तानी नागरिकों को अतिरिक्त दो दिन मिलेंगे, लेकिन उन्हें 29 अप्रैल तक देश छोड़ना होगा।

विदेश मंत्रालय ने गुरुवार को एक बयान में कहा, "पहलगाम आतंकी हमले के मद्देनजर सुरक्षा पर कैबिनेट समिति द्वारा लिए गए निर्णयों के क्रम में, भारत सरकार ने पाकिस्तानी नागरिकों के लिए वीजा सेवाओं को तत्काल प्रभाव से निलंबित करने का फैसला किया है।" इसके अतिरिक्त, भारत ने अपने नागरिकों को पाकिस्तान की यात्रा न करने की "दृढ़ता से सलाह" दी।

स्वतंत्रता सेनानियों के खिलाफ ऐसा बयान स्‍वीकार नहीं” सावरकर विवाद पर राहुल गांधी को सुप्रीम कोर्ट ने चेताया

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सुप्रीम कोर्ट ने कांग्रेस सांसद और लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी को स्वतंत्रता सेनानियों के बारे में टिप्पणी करने के खिलाफ चेतावनी दी है। शीर्ष अदालत ने वीर सावरकर के खिलाफ दिए कांग्रेस के बयान को गैरजिम्‍मेदार करार दिया और भविष्‍य में ऐसा न करने की नसीहत भी दे डाली। साथ ही कोर्ट ने वीडी सावरकर के बारे में टिप्पणी करने पर ट्रायल कोर्ट के समन पर रोक लगा दी है। बता दें कि कांग्रेस के सीनियर लीडर राहुल गांधी ने सावरकर पर दिए गए कथित विवादित बयान को लेकर दर्ज मानहानि मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच के आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है।

राहुल गांधी के बयान को गैरजिम्‍मेदार बताया

सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को इस मामले पर सुनवाई की। न्यायमूर्ति दीपांकर दत्ता और मनमोहन की पीठ ने कांग्रेस नेता को सावरकर के खिलाफ आगे कोई अपमानजनक टिप्पणी करने से आगाह किया। सुप्रीम कोर्ट ने वीर सावरकर को लेकर दिए राहुल गांधी के बयान को गैरजिम्‍मेदार बताया। कोर्ट ने सख्त टिप्पणी करते हुए कहा कि हमें यह स्वीकार नहीं कि किसी भी स्वतंत्रता संग्राम सेनानी के खिलाफ इस तरह का स्‍टेटमेंट दिया जाए।

“महात्मा गांधी ने भी “आपका वफादार सेवक” शब्द का इस्तेमाल”

कोर्ट ने कहा कि महाराष्ट्र में उनकी पूजा की जाती है। अदालत ने कहा कि अगर गांधी इस तरह की टिप्पणी करना जारी रखते हैं, तो उन्हें इसके परिणाम भुगतने होंगे। जब वरिष्ठ अधिवक्ता एएम सिंघवी ने कहा कि इस मामले में धारा 196 लागू नहीं होती। जस्टिस दीपांकर दत्ता ने नाराजगी जताते हुए कहा कि क्या आपके मुवक्किल को पता है कि महात्मा गांधी ने भी “आपका वफादार सेवक” शब्द का इस्तेमाल किया था। इस तरह आप कहेंगे कि महात्मा गांधी अंग्रेजों के सेवक थे। क्या उन्हें पता है कि उनकी दादी ने भी स्वतंत्रता सेनानी को पत्र भेजा था। उन्हें स्वतंत्रता सेनानियों के बारे में गैरजिम्मेदाराना बयान नहीं देना चाहिए।

भविष्य के लिए चेताया

अदालत ने कहा कि आप स्वतंत्रता सेनानियों के इतिहास- भूगोल को जाने बिना ऐसे बयान नहीं दे सकते। मैंने भी हमारे हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीशों को इसी तरह लिखते देखा है। कानून के बारे में आपकी बात सही है और आपको स्थगन मिल जाएगा। लेकिन उनके द्वारा आगे दिए गए किसी भी बयान पर स्वतः संज्ञान लेकर विचार किया जाएगा। अदालत ने सख्त भरे लहजे में कहा कि हमारे स्वतंत्रता सेनानियों के बारे में एक शब्द भी नहीं कहें।

देशभर में दर्ज हुए थे राहल के खिलाफ केस

राहुल गांधी ने भारत जोड़ो यात्रा के दौरान 17 नवंबर 2022 को महाराष्ट्र के अकोला में एक रैली में वीर सावरकर पर बयान दिया था, जिसे लेकर देशभर में उनके खिलाफ कई केस दर्ज हुए। लखनऊ में वकील नृपेंद्र पांडेय ने भी सिविल कोर्ट में एक याचिका दाखिल कर राहुल पर स्वतंत्रता सेनानियों का अपमान करने का आरोप लगाया था। इस याचिका को पहले सत्र न्यायालय ने जून 2023 में खारिज कर दिया था। इसके खिलाफ नृपेंद्र पांडेय ने पुनरीक्षण याचिका दाखिल की, जिसे कोर्ट ने स्वीकार कर लिया और राहुल गांधी को समन जारी कर दिया।

गलती से सीमा पार हो गया बीएसएफ जवान, 48 घंटे बाद भी पाकिस्तान ने नहीं छोड़ा

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पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच सीमा पर तनाव साफ बढ़ता दिख रहा है। इस बीच गलती से बॉर्डर पार गए बीएसएफ जवान को पाकिस्तान ने छोड़ने से मना कर दिया है। बीएसएफ के एक जवान को पाकिस्तान रेंजर्स ने बुधवार को हिरासत में लिया था। जवान को वापस लाने के लिए बीएसएफ के अधिकारी पाकिस्तान रेंजर्स के बात कर रहे हैं। बीएसएफ एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि जवान की सुरक्षित वापसी सुनिश्चित करने के लिए फ्लैग मीटिंग बुलाई, लेकिन मीटिंग बेनतीजा रही।

इंडिया टुडे टीवी की रिपोर्ट के मुंताबिक सेना के सूत्रों ने बताया कि बुधवार दोपहर पंजाब के फिरोजपुर सेक्टर में अंतरराष्ट्रीय सीमा (आईबी) को गलती से पार करने के बाद सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) के एक जवान को पाकिस्तान रेंजर्स ने हिरासत में ले लिया है। यह घटना बुधवार को हुई जब कांस्टेबल पीके सिंह नामक 182वीं बीएसएफ बटालियन के जवान भारत-पाक सीमा के पास खेतों के पास ड्यूटी पर थे। नियमित गतिविधि के दौरान सिंह अनजाने में भारतीय सीमा की बाड़ को पार कर पाकिस्तानी क्षेत्र में चले गए, जहां उन्हें फिरोजपुर सीमा के पार पाकिस्तान रेंजर्स ने हिरासत में ले लिया।

बैठक में नहीं बनी बात

बुधवार को पाकिस्तान रेंजर्स द्वारा जवान को हिरासत में लेने की सूचना मिलते ही बीएसएफ के अधिकारी बॉर्डर पर पहुंचे। जवान को छुड़वाने के लिए पाकिस्तानी रेंजर्स और बीएसएफ के अधिकारियों के बीच बॉर्डर पर बुधवार रात तक फ्लैग मीटिंग की गई थी, लेकिन जवान को रिहा नहीं किया गया। ऐसे में गुरूवार दोपहर को फिर से दोनों मुल्कों के अधिकारियों के बीच बैठक हुई। इस बैठक में भी कोई हल नहीं निकला और पाकिस्तान ने जवान पीके सिंह को नहीं लौटाया।

छांव में बैठने के लिए गलती से जीरो लाइन पार की

बता दें कि जीरो लाइन से पहले इस क्षेत्र में किसानों को विशेष परमिट के साथ खेती करने की इजाजत दी जाती है। फसल बोने और काटने के दौरान बीएसएफ के जवान उनके साथ तैनात रहते हैं। इन्हें किसान गार्ड भी कहा जाता है। कंटीली तार जीरो लाइन से काफी पहले है। जीरो लाइन पर सिर्फ पिलर लगे हैं। पाकिस्तान ने अपनी तरफ कंटीली तार नहीं लगाई है। इस कारण गर्मी के कारण जवान पेड़ की छांव में बैठने के लिए गलती से जीरो लाइन पार कर पाकिस्तानी सीमा में चला गया। इतने में पाकिस्तानी रेंजर्स बीएसएफ की चेक पोस्ट जल्लोके पर पहुंच गए और उन्होंने बीएसएफ जवान को हिरासत में लेकर उसके हथियार कब्जे में ले लिए।

पहलगाम हमले के कारण मामला हुआ जटिल

रिपोर्ट्स के मुताबिक भारत ने कड़ा रुख अपनाते हुए जल्द रिहाई की मांग की है। यह घटना ऐसे समय में हुई है जब पहलगाम हमले ने दोनों देशों के रिश्तों को तनावपूर्ण बना दिया है। इस तरह के बॉर्डर क्रॉसिंग के मामले आमतौर पर कूटनीतिक प्रोटोकॉल के तहत जल्द सुलझ जाते हैं, लेकिन पहलगाम हमले ने दोनों देशों के रिश्तों को इतना तनावपूर्ण बना दिया है कि यह मामला जटिल हो गया है।

जम्मू कश्मीर में दहशतगर्दों पर कड़ा प्रहार, बांदीपोरा में लश्कर का टॉप कमांडर ढेर, दो जवान भी जख्मी

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जम्मू-कश्मीर के पहलगाम आतंकी हमले के बाद सुरक्षाबलों को बड़ी कामयाबी मिली है। शुक्रवार कुलनार इलाके सुरक्षाबलों ने लश्कर ए तैयबा के टॉप कमांडर को मार गिराया है। पहलगाम में नरसंहार के बाद भारतीय सुरक्षाबलों का सर्च ऑपरेशन जारी है। इसी दौरान बांदीपोरा में सुरक्षाबलों और आतंकवादियों के बीच मुठभेड़ हो गई। एनकाउंटर में लश्कर-ए-तइबा के शीर्ष कमांडर अल्ताफ लाली को मार गिराया गया है।

टॉप लश्कर कमांडर अल्ताफ लाली ढेर

न्यूज एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, बांदीपोरा जिले के कुलनार बाजीपुरा इलाके में सुरक्षा बलों ने इलाके में आतंकवादियों की मौजूदगी की सूचना मिलने के बाद घेराबंदी की और तलाशी अभियान शुरू किया। छिपे हुए आतंकवादियों द्वारा सुरक्षाकर्मियों पर गोलीबारी कर दी। इसके बाद तलाशी अभियान मुठभेड़ में बदल गया। मुठभेड़ में एक आतंकी के मारे जाने की खबर है। मुठभेड़ में लश्कर-ए-तइबा के शीर्ष कमांडर अल्ताफ के मारे जाने की खबर है। जबकि दो जवान घायल हुए हैं। घायल जवानों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है।

सर्च ऑपरेशन के बाद मुभेड़

शुक्रवार की सुबह, आतंकवादियों की मौजूदगी के बारे में खुफिया जानकारी मिलने के बाद सुरक्षाबलों ने यह कार्रवाई की। भारतीय सेना और जम्मू-कश्मीर पुलिस ने बांदीपुरा में एक संयुक्त तलाशी अभियान शुरू किया। तलाशी के दौरान छिपे हुए आतंकवादियों ने गोलीबारी शुरू कर दी, जिसके कारण गोलीबारी हुई और इसमें दो सुरक्षाकर्मी घायल हो गए। घायल कर्मियों को एक चिकित्सा सुविधा में स्थानांतरित कर दिया गया है, जबकि इलाके में कड़ी घेराबंदी की गई है। इलाके में तलाशी अभियान जारी है।

बॉर्डर पर सीजफायर का उल्लंघन

इससे पहले गुरूवार रात पाकिस्तान ने बॉर्डर पर सीजफायर का उल्लंघन किया है। भारतीय सेना के अधिकारी ने बताया कि नियंत्रण रेखा पर कुछ स्थानों पर पाकिस्तानी सेना द्वारा छोटे हथियारों से गोलीबारी की गई। भारतीय सेना ने इसका प्रभावी ढंग से जवाब दिया। कोई हताहत नहीं हुआ।

श्रीनगर पहुंचे सेना प्रमुख, करेंगे सुरक्षा स्थिति की समीक्षा, पहलगाम हमले के घायलों से मिलने राहुल भी पहुंच रहे अनंतनाग

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जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले में पाकिस्तान कनेक्शन सामने आने के बाद भारत ने सख्त रुख अपनाते हुए पड़ोसी देश पर कई प्रहार किए हैं। जिसमें सिंधु नदी समझौता स्थगित करना भी शामिल हैष इस मुद्दे पर शुक्रवार को गृह मंत्री अमित शाह अपने आवास पर एक बैठक करने जा रहे हैं। इस बैठक में जलशक्ति मंत्री सीआर पाटिल समेत कई सीनियर केंद्रीय मंत्री शामिल हो सकते हैं। इस बीच, भारत ने पाकिस्तान को औपचारिक पत्र लिखकर सिंधु जल संधि को निलंबित करने की सूचना दे दी है। वहीं सेना प्रमुख जनरल उपेंद्र द्विवेदी भी आज श्रीनगर पहुंच गए हैं। वह 15 कोर में सुरक्षा बैठक की समीक्षा करेंगे। इसके साथ ही वह आतंकी हमले वाली जगह पर भी जाएंगे। वहीं कांग्रेस नेता राहुल गांधी भी जम्मू-कश्मीर जाएंगे।

आर्मी चीफ पहुंचे श्रीनगर

पहलगाम में 26 निर्दोष पर्यटकों की जान लेने वाले आतंकवादियों के खिलाफ सुरक्षाबल एक्टिव हो गए हैं। आर्मी चीफ जनरल उपेंद्र द्विवेदी श्रीनगर पहुंच चुके हैं। वे घाटी में सुरक्षा की समीक्षा करने के साथ ही आतंकवादियों और उनके गढ़ को तबाह करने की रणनीति भी बनाएंगे। उनका कश्मीर घाटी में तैनात वरिष्ठ सैन्य कमांडरों और अन्य सुरक्षा एजेंसियों के अधिकारियों के साथ बैठक करने का कार्यक्रम है। वह घाटी में चल रही सुरक्षा स्थिति और पाकिस्तान सेना द्वारा नियंत्रण रेखा (लाइन ऑफ़ कंट्रोल) पर संघर्ष विराम का उल्लंघन करने के प्रयासों की समीक्षा करेंगे।

यूएस दौरे रद्द कर देश लौटे राहुल गांधी

पहलगाम आतंकी हमले को लेकर कांग्रेस नेता राहुल गांधी शुक्रवार को जम्मू-कश्मीर का दौरा करेंगे। राहुल गांधी अमेरिका की यात्रा पर थे लेकिन यात्रा बीच में छोड़कर गुरुवार सुबह वे दिल्ली लौट आए थे। राहुल गांधी से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने भी अपनी-अपनी विदेश यात्रा बीच में रद्द कर दी थी। पीएम मोदी सऊदी अरब तो सीतारमण अमेरिका के दौरे पर थीं।

गुस्से में देश

पहलगाम आतंकी हमले में हिंदुओं की बर्बर हत्या की गई। इससे लोगों का आक्रोश बढ़ता जा रहा है। गुरुवार को देशभर में प्रदर्शन हुए। शुक्रवार को भी देश भर में प्रदर्शन होगा। शुक्रवार को भी दिल्ली बंद का ऐलान किया गया है। दिल्ली में पाकिस्तानी उच्चायोग के बाहर लोगों ने प्रदर्शन किया। करीब 300 लोगों ने उच्चायोग के समक्ष नारेबाजी की।

मिट्टी में मिला देंगे’, पहलगाम हमले में शामिल आसिफ का घर बम से उड़ाया, आदिल के घर चला बुलडोजर

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पहलगाम की बैसरन घाटी में 26 निहत्‍थे पर्यटकों की हत्‍या के बाद भारत का सख्‍त रुख सामने आ चुका है। देश बेकसूरों की “बलि” बदला लेकर रहेगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मिथिला की धरती से साफ शब्‍दों में कहा कि जिन्‍होंने इस हमले को अंजाम दिया है, उन्‍हें मिट्टी में मिला दिया जाएगा। इस बीच पहलगाम हमले के संदिग्‍ध आतंकवादियों के खिलाफ एक्‍शन शुरू हो गया है। अनंतनाग जिले के बिजबेहरा के त्राल के गोरी इलाके में एक आतंकी के घर को बम से उड़ाया गया है, जबकि दूसरे संदिग्ध के घर को बुलडोर से गिराया गया है।

त्राल में जम्मू-कश्मीर पुलिस आतंकी आसिफ के घर पहुंची। बताया जा रहा है कि उसके घर में विस्फोटकों का जखीरा था, जिसमें धमाका हुआ। इसके अलावा एक आतंकी आदिल के घर पर भी जम्मू-कश्मीर पुलिस ने बुलडोजर से कार्रवाई की और उसे ध्वस्त कर दिया।

हमले के बाद आसिफ-आदिल का वीडियो हुआ था वायरल

सुरक्षाबलों ने त्राल में जिन आतंकियों पर एक्शन लिया है। वे दोनों आतंकी लश्कर ए तैयबा से जुड़े हैं। बीते 22 अप्रैल को बैसरन घाटी में हुए आतंकवादी हमले से जुड़े वीडियो में दोनों नजर आए थे। बता दें कि पहलगाम हमले के बाद आतंकियों का एक वीडियो वायरल हुआ था, जिसमें वे सुरक्षा बलों को चुनौती देते नजर आ रहे हैं।

आसिफ और आदिल सहित हमले में शामिल अन्य आतंकियों को मार गिराने के लिए सुरक्षाबलों का अभियान जारी है। जम्मू कश्मीर पुलिस ने आतंकियों तक पहुंचने के लिए अब तक 2000 लोगों से पूछताछ की है। इसके साथ ही काफी लोगों को हिरासत में भी लिया है।

26 लोगों की नृशंस हत्या

जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में मंगलवार को आतंकियों ने पर्यटकों पर अंधाधुंध गोलियां बरसा कर 26 लोगों की जान ले ली थी। सेना की वर्दी में आए दहशतगर्दों ने पहलगाम की बायसरन घाटी में पर्यटकों से पहले उनका धर्म पूछा, परिचय पत्र देखा और फिर हिंदू हो कहकर गोली मार दी। 26 मृतकों में ज्यादातर पर्यटक हैं, जबकि दो विदेशी और दो स्थानीय नागरिक शामिल हैं।

पाकिस्तानी सेना ने एलओसी पर की फायरिंग, भारत ने पड़ोसी देश की चौकियों से हुई गोलीबारी का दिया जवाब

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पहलगाम हमले के बाद भारत और पाकिस्तानी सेना के बीच तनातनी शुरू हो गई है। पाकिस्तान की सेना ने कुछ जगहों पर छोटे हथियारों से गोलीबारी शुरू की। भारतीय सेना ने इसका करारा जवाब दिया। पहलगाम आतंकी हमले के बाद से ही पाकिस्तान डरा हुआ है। वह भारत की जवाबी कार्रवाई के डर से छटपटा रहा है। इस बीच पड़ोसी मुल्क की ओर से फायरिंग की गई है।

गुरुवार की रात को पाकिस्तानी आर्मी ने संघर्ष विराम का उल्लंघन करते हुए भारत के 8 चौकियों पर रात भर फायरिंग करती रही। गोलीबारी छोटे हथियारों के जरिए की गई। भारतीय सेना के अधिकारी ने बताया कि भारतीय सेना ने इसका प्रभावी ढंग से जवाब दिया। फिलहाल किसी के हताहत होने की कोई खबर नहीं है।

इससे पहले पाकिस्तान ने गुरुवार को भारत के साथ शिमला समझौते और अन्य द्विपक्षीय समझौतों को स्थगित कर दिया, सभी प्रकार के व्यापार पर रोक लगा दी और भारतीय एयरलाइन के लिए अपने हवाई क्षेत्र को बंद कर दिया। इसके साथ ही उसने कहा कि सिंधु जल संधि के तहत उसके लिए निर्धारित पानी के प्रवाह को रोकने या परिवर्तित करने का कोई भी प्रयास युद्ध छेड़ने के समान माना जाएगा।

पाकिस्तान ने भारत की ओर से की गई जवाबी कार्रवाई के बाद ये कदम उठाया। दरअसल, पहलगाम में आतंकवादी हमले के बाद भारत ने जवाब में पाकिस्तान पर कई तरह के प्रतिबंध लगा दिया है। इसमें सिंधु जल समझौता, पाकिस्तानियों के वीजा रद्द और भारत खाली करने के आदेश से लेकर कई तरह के प्रतिबंध शामिल हैं। वहीं, पीएम मोदी ने गुरुवार को साफ कर दिया कि इस कुकृत्य के जिम्मेदार को ‘मिट्टी में मिला देंगे।’ इस हमले से भारत अभी उबर नहीं पाया था कि पाकिस्तान ने अंतरराष्ट्रीय सीमा पर नापाक हरकत कर दी।

शाह और जयशंकर ने की राष्ट्रपति मुर्मू से मुलाकात, पहलगाम अटैक के बीच लाल फाइल दे रही खास संकेत

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पहलगाम हमले के बाद केन्द्र सरकार पूरी तरह से एक्शन मोड में है। देश की राजधानी में घटनाएं तेजी से घट रही है। दिल्ली में बैठकों का दौर जारी है। इस बीच केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से मुलाकात की है। सर्वदलीय बैठक से पहले अमित शाह और विदेश मंत्री जयशंकर इस मुलाकात को काफी अहम माना जा रहा है।

लाल रंग की फाइलें क्या कह रही?

राष्ट्रपति भवन ने बैठक की एक तस्वीर शेयर करते हुए 'एक्स' पर एक पोस्ट में कहा, 'केंद्रीय गृह मंत्री श्री अमित शाह और विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर ने राष्ट्रपति भवन में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से मुलाकात की।'

इस तस्वीर में अमित शाह और जयशंकर जब राष्‍ट्रपत‍ि से मुलाकात कर रहे थे तो उनके हाथ में लाल रंग की फाइलें देखी गईं। आमतौर पर सरकारी बैठकों में लाल या हरी रंग फाइलें बेहद संवेदनशील और सीक्रेट डॉक्‍यूमेंट के ल‍िए होती हैं।

पीएम मोदी ने दी चेतावनी

गृहमंत्री और विदेश मंत्री एक साथ राष्ट्रपति से मिलते हैं, खासकर ऐसे समय में जब पीएम ने कड़ा बयान दिया है। गुरूवार को बिहार के मधुबनी पहुंचे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रीय पंचायती राज दिवस कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा, देश के दुश्मनों ने भारत की आस्था पर हमला करने का दुस्साहस किया है। मैं बहुत स्पष्ट शब्दों में कहना चाहता हूं कि जिन्होंने यह हमला किया है, उन आतंकियों को और इस हमले की साजिश रचने वालों को उनकी कल्पना से भी बड़ी सजा मिलेगी।

पहलगाम आतंकी हमले के बाद केंद्र का एक्शन जारी

वहीं, जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुआ आतंकी हमले के बाद बुधवार को पीएम मोदी की अध्यक्षता में हुई सुरक्षा पर कैबिनेट समिति ने कई अहम फैसले लिए हैं। इसमें पाकिस्तान के साथ सिंधु जल समझौता तत्काल प्रभाव से स्थगित कर दिया गया है। वहीं अटारी बॉर्डर को भी बंद कर दिया गया है। जबकि भारत में रह रहे पाकिस्तानी नागरिकों को 48 घंटे में भारत छोड़ने का आदेश दिया गया है। इसके साथ पाकिस्तान के राजनायिकों को भारत छोड़ने का आदेश दिया गया है। इसके साथ ही सेना को हाई अलर्ट पर रहने का निर्देश दिया गया है।

सिंधु नदी का पानी मोड़ना युद्ध की घोषणा जैसा”, पाकिस्तान की गीदड़भभकी, भारत के खिलाफ किए कई ऐलान

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पहलगाम में हुए हमले के बाद तनाव को बढ़ाते हुए पाकिस्तान ने भारत के खिलाफ कई घोषणाएं की हैं। पहलगाम आतंकी हमले को लेकर भारत द्वारा पाकिस्तान के खिलाफ जवाबी कार्रवाई के बाद अब पाकिस्तान ने भी गीदड़भभकी देने की कोशिश की है। इस्लामाबाद में राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद की बैठक के बाद पाकिस्तान ने कई बड़े फैसलों का ऐलान किया है। इसमें भारत के साथ व्यापार पर रोक, वाघा बार्डर को बंद करना, भारतीय विमानों के लिए पाकिस्तानी हवाई क्षेत्र के इस्तेमाल पर रोक का फैसला किया गया है।

भारत पर आतंकवाद फैलाने जैसा गंभीर आरोप

इस्लामाबाद ने कहा कि यह कदम नई दिल्ली के पाकिस्तान के अंदर आतंकवाद को बढ़ावा देने, अंतरराष्ट्रीय हत्याओं में शामिल होने और कश्मीर पर अंतरराष्ट्रीय कानून और संयुक्त राष्ट्र के प्रस्तावों की अवहेलना करने के "प्रकट व्यवहार" का सीधा जवाब है। बयान में कहा गया है, "जब तक भारत अपने प्रकट व्यवहार से बाज नहीं आता, तब तक पाकिस्तान भारत के साथ सभी द्विपक्षीय समझौतों को स्थगित रखने के अधिकार का प्रयोग करेगा।"

भारत के बयान को बताया राजनीति से प्रेरित

पाकिस्तान के प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) द्वारा जारी एक बयान के अनुसार, बैठक में भाग लेने वालों ने राष्ट्रीय सुरक्षा माहौल और क्षेत्रीय स्थिति, खासकर पहलगाम हमले के मद्देनजर चर्चा की। बयान में कहा गया, "पर्यटकों की जान जाने पर चिंता व्यक्त करते हुए समिति ने 23 अप्रैल 2025 को घोषित भारतीय उपायों की समीक्षा की और उन्हें एकतरफा, अन्यायपूर्ण, राजनीति से प्रेरित, बेहद गैरजिम्मेदाराना और कानूनी योग्यता से रहित बताया।

सिंधु जल संधि पर बोला पाकिस्तान

पीएमओ के बयान में कहा गया है, पाकिस्तान सिंधु जल संधि को स्थगित रखने की भारत की घोषणा को पूरी तरह से खारिज करता है। बयान में कहा गया है कि यह संधि एक बाध्यकारी अंतरराष्ट्रीय समझौता है, जिसमें एकतरफा निलंबन का कोई प्रावधान नहीं है। एनएससी ने जोर देकर कहा, पानी पाकिस्तान का एक महत्वपूर्ण राष्ट्रीय हित है, यह उसके 240 मिलियन लोगों की जीवनरेखा है और इसकी उपलब्धता को हर कीमत पर सुरक्षित रखा जाएगा। इसने चेतावनी दी, सिंधु जल संधि के अनुसार पाकिस्तान के पानी के प्रवाह को रोकने या मोड़ने का कोई भी प्रयास और निचले तटवर्ती क्षेत्र के अधिकारों का हनन युद्ध की कार्रवाई के रूप में माना जाएगा और राष्ट्रीय शक्ति के पूरे स्पेक्ट्रम में पूरी ताकत से इसका जवाब दिया जाएगा।

भारत के लिए एयरस्पेश किया बंद

बयान में आगे कहा गया है कि, पाकिस्तान का हवाई क्षेत्र तत्काल प्रभाव से सभी भारतीय स्वामित्व वाली या भारतीय संचालित एयरलाइनों के लिए बंद कर दिया जाएगा। भारत के साथ सभी व्यापार, जिसमें पाकिस्तान के माध्यम से किसी तीसरे देश के लिए या उससे होने वाला व्यापार भी शामिल है, तत्काल निलंबित कर दिया गया है।

पाकिस्तान ने वाघा सीमा चौकी को बंद किया

पाकिस्तान ने कहा है कि वह वाघा सीमा चौकी को तत्काल प्रभाव से बंद करेगा। इस मार्ग से भारत से सीमा पार सभी पारगमन, बिना किसी अपवाद के निलंबित रहेंगे। जो लोग वैध समर्थन के साथ सीमा पार कर चुके हैं, वे तुरंत लेकिन 30 अप्रैल 2025 से बाद में नहीं, वापस लौट सकते हैं।

सिखों को छोड़ भारतीय नागरिकों का वीजा निरस्त

पाकिस्तान ने भारतीय नागरिकों को जारी किए गए सार्क वीजा छूट योजना के तहत सभी वीजा निलंबित कर दिए हैं और सिख धार्मिक तीर्थयात्रियों को छोड़कर उन्हें तत्काल प्रभाव से रद्द कर दिया है। एसवीईएस के तहत वर्तमान में पाकिस्तान में भारतीय नागरिकों को 48 घंटे के भीतर बाहर निकलने का निर्देश दिया सलाहकारों के सहायक कर्मचारियों को भी भारत लौटने का निर्देश दिया गया है।