सऊदी अरब ने 14 देशों के मल्टीपल वीजा रोके, लिस्ट में भारत का नाम भी

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सऊदी अरब ने अपने वीजा नियमों में बदलाव किया है। सऊदी सरकार ने भारत समेत 14 देशों के यात्रियों को अब केवल सिंगल एंट्री वीजा का ऐलान किया है। यानी इन देशों के लिए मल्टीपल एंट्री वीजा पर रोक लगाई गई है। यह नियम 1 फरवरी, 2025 से लागू कर दिया गया है। सऊदी ने अपने वीजा नियमों में बदलाव इसलिए किया है ताकि लंबी अवधि का वीजा लेकर देश में आने वाले लोग अनाधिकृत रूप से हज यात्रा न कर सकें।

सऊदी सरकार ने अल्जीरिया, बांग्लादेश, मिस्र, इथियोपिया, भारत, इंडोनेशिया, इराक, जॉर्डन, मोरक्को, नाइजीरिया, पाकिस्तान, सूडान, ट्यूनीशिया और यमन के यात्रियों के लिए मल्टीपल वीजा पर रोक लगाई है। इन 14 देशों के लिए पर्यटन, व्यापार और पारिवारिक यात्राओं के लिए एक साल का मल्टीपल-एंट्री वीजा अनिश्चितकाल के लिए रोक दिया है। सऊदी अधिकारियों का कहना है कि इससे हज यात्रा को बेहतर तरीके से नियंत्रित करने में मदद मिलेगी।

सऊदी के सामने हालिया वर्षों में अनाधिकृत हज यात्री एक बड़ी चुनौती बनकर उभरे हैं। सऊदी अधिकारियों ने बताया कि मल्टीपल-एंट्री वीजा का दुरुपयोग हो रहा था। कुछ यात्री लंबी अवधि के वीजा पर आने के बाद बिना उचित अनुमति के हज करते थे।

सऊदी अरब हज यात्रा पर कड़ा नियंत्रण रखता है और प्रत्येक देश के लिए हज यात्रियों की एक निश्चित संख्या तय करता है। इसके बावजूद कई पर्यटक लंबी अवधि के वीजा का उपयोग करके इस सीमा को तोड़ते थे, जिससे हज में भीड़भाड़ बढ़ती थी। यह समस्या 2024 में विशेष रूप से गंभीर हो गई थी, जब अत्यधिक गर्मी और भीड़ के कारण 1,200 से अधिक हज यात्रियों की मौत हो गई थी।

सऊदी अरब के प्रिंस सलमान ने ट्रंप को दिया बड़ा ऑफर, 600 अरब डॉलर के निवेश का ऐलान

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डोनाल्ड ट्रंप के राष्ट्रपति पद पर लौटते ही सऊदी अरब ने अमेरिकी को खुश कर दिया है। सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान ने अमेरिका में 600 अरब डॉलर के निवेश और व्यापार करने की इच्छा जताई है। सऊदी अरब की सरकारी न्यूज़ एजेंसी ने जानकारी दी कि प्रिंस एमबीएस ने ट्रंप को उनके राष्ट्रपति बनने की बधाई दी और उनसे फोन पर बातचीत की। इसके साथ ही इतना बड़ा ऑफर दे डाला। इसके साथ ही सऊदी अरब और अमेरिका के बीच रिश्तों में एक नया अध्याय शुरू हो गया है। दरअसल, इससे पहले जो बाइडन के राष्‍ट्रपति रहने के दौरान प्रिंस से उनके रिश्‍ते तल्‍ख बने हुए थे। दोनों के बीच मानवाधिकारों को सऊदी पत्रकार जमाल खशोगी की हत्‍या को लेकर विवाद था।

सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान ने गुरुवार को डोनाल्ड ट्रम्प से बातचीत कर उन्हें दोबारा राष्ट्रपति बनने की बधाई दी। रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक ट्रम्प के राष्ट्रपति पद संभालने के बाद विदेशी नेताओं में सबसे पहले प्रिंस सलमान से बातचीत हुई। क्राउन प्रिंस ने ट्रम्प से कहा कि सऊदी अरब, अमेरिका में अगले 4 साल में 600 बिलियन डॉलर (52 लाख करोड़) का निवेश करने को तैयार है। प्रिंस सलमान ने कहा कि अगर परिस्थितियां अनुकूल रहीं तो यह निवेश और बढ़ भी सकता है।

सऊदी प्रिंस ने ट्रंप से कहा कि उनका देश नए प्रशासन के सुधार से पैदा होने वाले अवसरों का फायदा उठाना चाहता है और भागीदारी तथा निवेश करना चाहता है। उन्‍होंने कहा कि इन सुधारों से अप्रत्‍याशित समृद्धि आ सकती है। सऊदी एजेंसी ने यह नहीं बताया कि प्रिंस किन सुधारों की बात कर रहे हैं। ट्रंप के पहले कार्यकाल से ही सऊदी अरब और अमेरिका के बीच बहुत करीबी संबंध रहे थे। ट्रंप और सऊदी प्रिंस पश्चिम एशिया में शांति और स्थिरता लाना चाहते थे। साथ ही उनका इरादा आतंकवाद से मिलकर लड़ने का भी है।

सऊदी से हो सकती है ट्रंप की विदेश यात्रा की शुरुआत

अपने पिछले कार्यकाल में डोनाल्ड ट्रंप ने अमेरिकी राष्ट्रपतियों की पहली यात्रा पर ब्रिटेन जाने की परंपरा तोड़ते हुए, सऊदी अरब की पहली यात्रा की थी। इस बार भी वह ऐसा कर सकते हैं। इससे पहले अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने सोमवार को कहा था कि वह फिर से पहला विदेशी दौरा सऊदी अरब का कर सकते हैं, लेकिन इसकी कीमत देनी होगी। ट्रंप की टिप्पणी के बाद सऊदी प्रिंस ने अमेरिका में अरबों डॉलर का निवेश करने का ऐलान किया है।

पहली बार विदेश दौरे पर सऊदी गए थे ट्रंप

अमेरिका में राष्ट्रपति बनने के बाद कनाडा-मेक्सिको या फिर यूरोपीय देश की यात्रा करने की परंपरा है। पहली बार ट्रंप ने ही इस परंपरा को 2017 में तोड़ा था। ट्रम्प ने सोमवार को इस बात का खुलासा किया कि उन्होंने पहले विदेशी दौरे के लिए सऊदी अरब को इसलिए चुना था, क्योंकि वहां से सैकड़ों अरब डॉलर की बिजनेस डील हुई थी। तब सऊदी अरब 450 अरब डॉलर की कीमत के अमेरिकी सामान खरीदने पर राजी हुआ था, इसके बाद उन्होंने वहां का दौरा किया। मैं फिर से वहां का दौरा कर सकता हूं लेकिन इसके लिए उन्हें अमेरिकी सामान खरीदना होगा। अगर सऊदी 450 या फिर 500 अरब डॉलर की बिजनेस डील के लिए तैयार होता है, तो मैं फिर से वहां जाने के लिए तैयार हूं।

सऊदी अरब की निवेश योजना के संभावित पहलू

• अमेरिका में निवेश: सऊदी अरब ने अगले चार वर्षों में 600 अरब डॉलर के निवेश का वादा किया है। इसमें इंफ्रास्ट्रक्चर, ऊर्जा, और तकनीकी क्षेत्रों पर जोर दिया जाएगा। यह प्रस्ताव अमेरिका और सऊदी अरब के बीच आर्थिक संबंधों को नई ऊंचाइयों तक ले जा सकता है।

• हथियार सौदे: सऊदी अरब और अमेरिका के बीच हमेशा हथियार सौदे महत्वपूर्ण रहे हैं। ट्रंप के पहले कार्यकाल में 450-500 अरब डॉलर के हथियार सौदे हुए थे। हालांकि, अब 600 अरब के निवेश में हथियार खरीदारी का हिस्सा बड़ा हो सकता है।

• मध्य पूर्व में स्थिरता: एमबीएस और ट्रंप दोनों पश्चिम एशिया में शांति और स्थिरता लाना चाहते हैं। ये आतंकवाद के खिलाफ मिलकर लड़ने का इरादा भी इस साझेदारी को मजबूत करेगा।

सउदी अरब के साथ मिलकर क्या प्लानिंग कर रहा भारत? दोनों देशों के विदेश मंत्री के बीच हुई मुलाकात

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सऊदी अरब के विदेश मंत्री प्रिंस फैसल बिन फरहान अल-सऊद अपने दो दिवसीय आधिकारिक दौरे पर भारत पहुंचे हैं। जहां उन्होंने हैदराबाद हाउस में विदेश मंत्री एस जयशंकर से मुलाकात की। सऊदी अरब के विदेश मंत्री प्रिंस फैसल बिन फरहान अल सऊद से मुलाकात में एस जयशंकर ने कहा कि भारत गाजा में शीघ्र युद्धविराम का समर्थन करता है और वह लगातार दो स्टेट सॉल्यूशन के माध्यम से फिलिस्तीनी मुद्दे के समाधान के लिए खड़ा है। जयशंकर ने कहा कि पश्चिम एशिया की स्थिति खासकर गाजा में स्थिति गहरी चिंता का विषय है। विदेश मंत्री ने सऊदी अरब को क्षेत्र में स्थिरता के लिए एक महत्वपूर्ण ताकत बताया।

दिल्ली के हैदराबाद हाउस में विदेश मंत्री एस जयशंकर ने प्रिंस फैसल बिन फरहान अल सऊद से मुलाकात की। एस जयशंकर और प्रिंस फैसल बिन फरहान अल सऊद के बीच बैठक के बाद भारतीय विदेश मंत्रालय ने एक बयान जारी किया। एस जयशंकर ने कहा कि हमने क्षेत्रीय और अंतर्राष्ट्रीय मुद्दों, विशेष रूप से पश्चिम एशिया में चल रहे संघर्ष और विभिन्न बहुपक्षीय मंचों पर हमारे संयुक्त प्रयासों पर भी विचारों का आदान-प्रदान किया। जयशंकर ने कहा कि भारत दो-राज्य समाधान के माध्यम से फिलिस्तीनी मुद्दे के समाधान के लिए खड़ा है। फिलिस्तीनी संस्थाओं के निर्माण में योगदान दिया है।

इन मुद्दों पर हुई दोनों नेताओं की बात

जारी बयान में कहा गया है कि एस जयशंकर और प्रिंस फैसल बिन फरहान अल सऊद ने व्यापार, रक्षा, निवेश, ऊर्जा, सुरक्षा और कांसुलर मुद्दों पर भारत और सऊदी अरब के बीच रणनीतिक साझेदारी को मजबूत करने के तरीकों पर चर्चा की। एस जयशंकर और प्रिंस फैसल बिन फरहान अल सऊद भारत-सऊदी रणनीतिक साझेदारी परिषद (एसपीसी) की राजनीतिक, सुरक्षा, सामाजिक और सांस्कृतिक (पीएसएससी) समिति की सह-अध्यक्षता करते हैं। इस दौरान दोनों ने सितंबर 2023 में सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान की भारत यात्रा के बाद दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय संबंधों में हुई प्रगति की समीक्षा की।

हम शीघ्र युद्धविराम का समर्थन करते हैं’

एस जयशंकर ने कहा कि पश्चिम एशिया की स्थिति गहरी चिंता का विषय है। विशेषकर गाजा में संघर्ष. इस संबंध में भारत की स्थिति सैद्धांतिक और सुसंगत रही है। उन्होंने कहा, हालांकि हम आतंकवाद और बंधक बनाने के कृत्यों की निंदा करते हैं। हम निर्दोष नागरिकों की मौत से बहुत दुखी हैं। हम शीघ्र युद्धविराम का समर्थन करते हैं।

सऊदी के साथ भारत की पार्टनरशिप

जयशंकर ने कहा कि सऊदी अरब का 'विजन 2030' और भारत का विकसित भारत 2047 दोनों देशों के उद्योगों के लिए नई पार्टनरशिप करने के लिए पूरक हैं। उन्होंने कहा कि व्यापार और निवेश हमारी साझेदारी के महत्वपूर्ण स्तंभ हैं। हम प्रौद्योगिकी, ऊर्जा, हरित हाइड्रोजन सहित नवीकरणीय ऊर्जा, कनेक्टिविटी, स्वास्थ्य और शिक्षा सहित नए क्षेत्रों में अपने सहयोग को मजबूत कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि सऊदी अरब में भारतीय समुदाय की संख्या 26 लाख है।

ChaiApps: Crafting a Global Culinary Legacy.

In a world full of foodies, one name is quickly becoming the most popular: ChaiApps. ChaiApps, a unique combination of classic and inventive tastes with new age twists, is about more than simply amazing taste; it's about feeling well. ChaiApps has been identified with quality and authenticity, offering over 25 organic tea varieties that are quite popular in India. From humble beginnings to become India's favorite culinary brand in the world.

ChaiApps is all about providing the pleasant, aromatic flavor of traditional Indian tea, which warms hearts everywhere. In fact, ChaiApps proudly sells over 2 lacs kulhad chai every day in India alone, demonstrating its everlasting devotion to delighting tea lovers with every drink.

ChaiApps, founded by CEO Satvir Singh and co-founder Nitin Tomar, originated in 2017 as a concept in the corridors of Indira Gandhi Airport. Driven by a desire to deliver real Indian flavours, the founders set out on a quest to transform the tea industry. Years of extensive research and effort culminated in the opening of the first ChaiApps location in Gurgaon in 2020.

ChaiApps has grown rapidly since its inception, with plans to open over 100 stores across India by 2022. But ChaiApps' aims go well beyond national borders. The brand's objective is to promote the joy of Indian flavours over the world by making its famous Kulhad Chai a household name. ChaiApps plans to establish 150 shops in India over the next two years, as well as 25 outlets in the UAE, Oman, Qatar, and Saudi Arabia, as part of its international expansion.

ChaiApps distinguishes itself in the competitive market with its unique offerings and business model. Operating with a chef-less approach provides consistency and quality, while ChaiApps' low-risk management and quick return on investment of 8-10 months make it an appealing opportunity for aspiring entrepreneurs. ChaiApps uses technology for data and inventory management, resulting in efficient operations and seamless customer experiences. ChaiApps develops confidence and credibility among its partners and consumers by maintaining complete transparency and avoiding hidden charges.

Aside from its signature Kulhad Chai, ChaiApps has a diverse menu, catering to every craving imaginable. From delectable burgers and pizzas to soothing Maggie and momos, each dish is meticulously prepared using unique and effective raw materials, resulting in an average gross profit of 50-60%.

As ChaiApps continues to write its success narrative, the brand stays dedicated to its fundamental values of excellence, customer satisfaction, and building long term connections. With its headquarters in the heart of New Delhi, ChaiApps is more than just a brand; it represents the rich tapestry of Indian flavours and hospitality.

In a world where tastes evolve and trends fade, ChaiApps stands out as a symbol of tradition, flavor, and innovation. ChaiApps, with its consistent commitment to quality, transparency, and customer satisfaction, ChaiApps invites newbies to join its journey of spreading happiness and flavours. As the aroma of Indian spices fills the air, ChaiApps continues to transform the culinary landscape, one sip at a time.

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চারধাম যাত্রার জন্য অনলাইন রেজিস্ট্রেশন আজ থেকে শুরু হচ্ছে

#Travel, #Online _registration _for Chardham _Yatra starts today এসবি নিউজ ব্যুরো: চারধাম যাত্রার জন্য অনলাইন রেজিস্ট্রেশন আজ থেকে শুরু হচ্ছে। পর্যটন দফতর সূত্রে খবর, সারা দেশ ও বিশ্ব থেকে আগত ভক্তরা আজ থেকে চারধাম যাত্রার জন্য নিবন্ধন করতে পারবেন। সকাল ৭টা থেকে রেজিস্ট্রেশনের জন্য ওয়েবসাইট খুলবে। এছাড়াও মোবাইল অ্যাপ, হোয়াটসঅ্যাপ নম্বর এবং টোল ফ্রি নম্বরের রেজিস্ট্রেশন সুবিধা রয়েছে। কেদারনাথ, বদ্রীনাথ, গঙ্গোত্রী এবং যমুনোত্রী ধামে আসা ভক্তদের জন্য নিবন্ধন বাধ্যতামূলক হবে। চারধামের দরজা খোলার তারিখ ঠিক হওয়ার পর রেজিস্ট্রেশনের প্রস্তুতি সম্পন্ন করেছে পর্যটন বিভাগ। এ বার চারধাম যাত্রা শুরুর ২৫ দিন আগে তীর্থযাত্রীদের রেজিস্ট্রেশনের সুবিধা দেওয়া হচ্ছে, যাতে রাজ্যের বাইরে থেকে আগত তীর্থযাত্রীরা তাদের ভ্রমণের পরিকল্পনা করতে এবং সহজেই নিবন্ধন করতে পারেন। এছাড়াও এবারও দেশের যে কোন প্রান্ত থেকে হজযাত্রীরা ৪টি মাধ্যমে নিবন্ধন করতে পারবেন। নিবন্ধনের জন্য নাম, মোবাইল নম্বর এবং থাকার জায়গার ঠিকানা সহ ভ্রমণকারী সদস্যদের বিশদ বিবরণের জন্য আইডি প্রদান করতে হবে। এভাবে নিবন্ধন করুন পর্যটন বিভাগের ওয়েবসাইট, registrationandtouristcare.uk.gov.in-এ লগইন করে নিবন্ধন করা যেতে পারে। এছাড়াও, আপনি হোয়াটসঅ্যাপ নম্বর-8394833833-এ যাত্রা (ভ্রমণ) লিখে একটি বার্তা পাঠিয়েও নিবন্ধন করতে পারেন। যে সমস্ত ভ্রমণকারীরা ওয়েবসাইটে নিবন্ধন করতে অক্ষম, তাদের জন্য পর্যটন বিভাগ টোল ফ্রি প্রদান করেছে0135-1364 নম্বরে কল করে রেজিস্ট্রেশন সুবিধা প্রদান করা হয়েছে ।এছাড়াও, আপনি স্মার্ট ফোনে ট্যুরিস্টকারেরতারখন্ড মোবাইল অ্যাপের মাধ্যমে নিবন্ধন করতে পারেন। গত বছর ৭৪ লাখ তীর্থযাত্রী নিবন্ধন করেছিলেন।এর মধ্যে পুরো যাত্রা সময়কালে ৫৬ লাখ তীর্থযাত্রী ৪ধাম দর্শন করেছিলেন।
মালদহের দক্ষিণ কেন্দ্রের আসনের জন্য প্রচার বিজেপি প্রার্থীর

# BJP_ candidate  _campaigning _for _Malda South _Central _seat এসবি নিউজ ব্যুরো: গত বিধানসভা নির্বাচনে ইংরেজবাজার আসনে তৃণমূল কংগ্রেসের দাপুটে নেতা তথা প্রাক্তণ মন্ত্রী কৃষ্ণেন্দু নারায়ণ চৌধুরীকে পরাজিত করে চমক দিয়েছিলেন বিজেপি প্রার্থী শ্রীরুপা মিত্র চৌধুরী।তাই মোদী-শাহ জুটি  আসন্ন লোকসভা নির্বাচনে সেই  শ্রীরূপা মিত্র চৌধুরীর উপর ভরসা করেছেন। মালদা দক্ষিণ কেন্দ্রের বিজেপির প্রার্থীও করেছেন শ্রীরূপা মিত্র চৌধুরীকে।

উত্তরবঙ্গের বিজেপির  একমাত্র মহিলা প্রার্থী তিনি।প্রায় প্রতিদিনই ভোটারদের কাছে পৌঁছাতে  নির্বাচনী প্রচারেও  চমক দিচ্ছেন তিনি। সকাল থেকেই তাকে জনসংযোগে ব্যস্ত থাকতে দেখা যাচ্ছে  বিজেপি প্রার্থীকে। কখনো টোটো চালিয়ে প্রচার। আবার কখনো জেলার একমাত্র বড়  পাইকারি রথবাড়ি বাজারের ক্রেতা  বিক্রেতার কাছে গিয়ে জনসংযোগ করতে।

বিজেপির মালদা দক্ষিণ লোকসভা কেন্দ্রের প্রার্থী শ্রীরূপা মিত্র চৌধুরীর দাবি হাটে বাজারে তিনি রয়েছেন। শুধু ভোটের সময় নয় , সারা বছরই এলাকার মানুষের পাশে থাকেন তিনি। তার অভিযোগ, ১৫৩ বছরের পৌরসভায় এখনও অনেক পিছিয়ে। এলাকাবাসীও সেই অভিযোগ তুলছেন। প্রচারে ব্যপক সাড়া  পাচ্ছেন জানান তিনি।

सऊदी अरब ने पाक पीएम शहबाज की उम्मीदों पर फेरा पानी, कश्मीर पर दिया बड़ा झटका

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पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ बड़े अरमान लेकर सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान (एमबीएस) से मिलने पहुंचे थे। हालांकि, उनकी उम्मीदों को बड़ा झटका लगा। सऊदी अरब ने कश्मीर मुद्दे पर पाकिस्तान को बड़ा झटका दिया है। क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान अल सऊद ने कश्मीर को भारत और पाकिस्तान के बीच द्विपक्षीय मुद्दा बताया है। इतना ही नहीं, उन्होंने यह भी कहा है कि इस मुद्दे को भारत और पाकिस्तान को बातचीत के जरिए सुलझाना होगा।

सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस ने साझा बयान में कश्मीर समेत अन्य लंबित मुद्दों को सुलझाने के लिए नई दिल्ली और इस्लामाबाद के बीच बातचीत के महत्व पर जोर दिया।पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ और सऊदी शासक प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान के बीच मक्का के अल-सफा पैलेस में हुई एक आधिकारिक बैठक के एक दिन बाद एक संयुक्त बयान जारी किया गया।बयान के मुताबिक, उनकी चर्चा सऊदी अरब और पाकिस्तान के बीच भाईचारे वाले संबंधों को मजबूत करने तथा विभिन्न क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने के रास्ते तलाशने पर केंद्रित रही।

सऊदी ने भारत-पाक में बातचीत का किया आह्वान

बयान में कश्मीर सहित क्षेत्रीय मुद्दों पर भी चर्चा की बात कही गई है। सऊदी अरब ने संयुक्त बयान में शांति और स्थिरता सुनिश्चित करने के लिए दोनों देशों के बीच लंबित मुद्दों, विशेष रूप से जम्मू और कश्मीर विवाद को हल करने के लिए पाकिस्तान और भारत के बीच बातचीत के महत्व पर जोर दिया।

सऊदी अरब का बयान पाक के लिए बड़ा झटका

सऊदी अरब के कश्मीर को लेकर दिए गए बयान को पाकिस्तान के लिए एक बड़े झटके के रूप में देखा जा रहा है, दरअसल पाकिस्तान यूएन सहित अन्य वैश्विक मंचों पर कश्मीर का मुद्दा उठाता रहा है। वह यूएन के तत्वाधान में जनमत संग्रह का राग भी अलापता रहा है, हालांकि भारत ने हमेशा से ही इसका विरोध किया है और इसे द्विपक्षीय मुद्दा बताया है। नई दिल्ली का लंबे समय से रुख रहा है कि कश्मीर भारत और पाकिस्तान के बीच मुद्दा हम दो देशों का है और किसी तीसरे पक्ष की मध्यस्थता या हस्तक्षेप का कोई सवाल ही नहीं है।

सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान का बड़ा बयान, कहा-हम भी न्यूक्लियर बम बना लेंगे, अगर...

#saudicrownprincesaidifiranmakesnuclearweaponsthenwewillalso_get 

सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान ने बुधवार को अमेरिका में फॉक्स न्यूज को एक इंटरव्यू दिया।इंटरव्यू में मोहम्मद बिन सलमान ने कहा कि अगर उनका प्रतिद्वंद्वी ईरान पहले न्यूक्लियर बम बना लेता है तो, वो भी न्यूक्लियर बम बना लेंगे। उन्होंने कहा कि अगर ईरान के पास एक न्यूक्लियर बम होगा तो हमारे पास भी एक होना चाहिए।

'दुनिया दूसरा हिरोशिमा नहीं देखना चाहती'

क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान ने बुधवार को कहा कि सऊदी अरब परमाणु हथियार हासिल कर लेगा यदि उसका प्रतिद्वंद्वी ईरान पहले ऐसा करता है। उन्होंने फॉक्स न्यूज को दिए एक इंटरव्यू में यह टिप्पणी की। संबंधित खतरों के बारे में बोलते हुए, प्रिंस सलमान ने कहा कि जब भी कोई देश परमाणु हथियार हासिल करता है तो सऊदी अरब 'चिंतित' होता है। हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि कोई भी परमाणु हथियार का उपयोग नहीं करेगा क्योंकि इसका मतलब बाकी दुनिया के साथ युद्ध शुरू करना होगा। सऊदी प्रिंस ने आगे कहा, 'दुनिया दूसरा हिरोशिमा नहीं देखना चाहती'। अगर दुनिया 1 लाख लोगों को मरते हुए देखेगी तो इसका मतलब है कि आप बाकी दुनिया के साथ युद्ध में हैं।

ईरान के परमाणु कार्यक्रम में तेजी आई

डोनाल्ड ट्रंप ने 2015 की ईरान न्यूक्लियर डील को तोड़ दिया। बाद में जो बाइडेन ने भी इसे फिर शुरू करने से इनकार कर दिया, जिसके बाद ईरान के परमाणु कार्यक्रम में तेजी आई है। यह इस क्षेत्र के लिए अस्थिरता पैदा करने वाला है। साल 2016 में सऊदी अरब ने घोषणा की थी कि वह अगले दो दशक में 16 न्यूक्लियर रिएक्टर बनाएगा, जिसकी लागत 80 अरब डॉलर होगी। इसके दो साल बाद किंगडम ने अपनी राष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा नीति को मंजूरी दी, जो शांतिपूर्ण उद्देश्यों के लिए परमाणु ऊर्जा के इस्तेमाल को सीमित करता है।

ईरान के परमाणु कार्यक्रम पर सऊदी की नजर

सऊदी अरब और ईरान की दोस्ती नई नई है। साल की शुरुआत में चीन ने अपने देश मे ईरान और सऊदी अरब के बीच दोस्ती कराई थी। ईरान जो शिया बहुल देश है, उसकी सुन्नी देश सऊदी अरब से दोस्ती की दुनियाभर में चर्चा हुई। ईरान पूरी ताकत के साथ परमाणु बम बनाने की जुगत में है। ईरान के परमाणु कार्यक्रम की प्रगति देखकर भला सऊदी अरब कहां पीछे रहने वाला था। यही कारण है कि सऊदी अरब के प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान ने ये ऐलान किया है। 

सऊदी अरब की तरफ से पहले भी आया है ऐसा बयान

हालांकि, यह पहली बार नहीं है जब ईरान के संभावित खतरे को देखते हुए परमाणु बम संबंधित कोई बयान सऊदी अरब की तरफ से आया हो। सऊदी अरब के विदेश मंत्री प्रिंस फैसल बिन फरहान अल सऊद ने पिछले साल बयान दिया था, कि अगर तेहरान को 'ऑपरेशनल परमाणु हथियार' मिलता है तो राज्य अपनी सुरक्षा बढ़ाने के लिए कदम उठाएगा।

रमज़ान के पहले हफ्ते में सऊदी अरब में भयानक हादसा, कम से कम 20 लोगों की मौत, 29 घायल

#saudi-arabia-several-umrah-pilgrims_killed_29

सऊदी अरब के असीर में तीर्थयात्रियों से भरी बस हादसे की शिकार हो गई। हादसे में कम से कम 20 तीर्थयात्रियों की मौत हो गई और 29 अन्य घायल हो गए।गल्फ न्यूज की रिपोर्ट के अनुसार घटना असीर में हुई जहां यात्रियों से भरी बस एक पुल से टकरा गई और पलट गई। इसके बाद उसमें आग लग गई जिससे 20 लोगों की मौत हो गई।

बताया जा रहा है कि जा रहा है कि ब्रेक फेल होने के बाद बस हादसे की शिकार हुई। बस के पलटने से उसमें आग भी लग गई।जानकारी के मुताबिक, असीर प्रांत और आभा शहर को जोड़ने वाली सड़क पर बस हादसे की शिकार हुई। बस सवार सभी लोग उमरा करने के लिए मक्का जा रहे थे।

सऊदी सिविल डिफेंस और रेड क्रिसेंट अथॉरिटी की टीमें दुर्घटनास्थल पर पहुंच गई हैं और इलाके को घेर लिया है। साथ ही घायलों को नजदीकी अस्पताल में भर्ती कराया है। फिलहाल, मृतकों की शिनाख्त नहीं हो पाई है। इस संबंध में जांच पड़ताल जारी है।

सऊदी अरब ने 14 देशों के मल्टीपल वीजा रोके, लिस्ट में भारत का नाम भी

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सऊदी अरब ने अपने वीजा नियमों में बदलाव किया है। सऊदी सरकार ने भारत समेत 14 देशों के यात्रियों को अब केवल सिंगल एंट्री वीजा का ऐलान किया है। यानी इन देशों के लिए मल्टीपल एंट्री वीजा पर रोक लगाई गई है। यह नियम 1 फरवरी, 2025 से लागू कर दिया गया है। सऊदी ने अपने वीजा नियमों में बदलाव इसलिए किया है ताकि लंबी अवधि का वीजा लेकर देश में आने वाले लोग अनाधिकृत रूप से हज यात्रा न कर सकें।

सऊदी सरकार ने अल्जीरिया, बांग्लादेश, मिस्र, इथियोपिया, भारत, इंडोनेशिया, इराक, जॉर्डन, मोरक्को, नाइजीरिया, पाकिस्तान, सूडान, ट्यूनीशिया और यमन के यात्रियों के लिए मल्टीपल वीजा पर रोक लगाई है। इन 14 देशों के लिए पर्यटन, व्यापार और पारिवारिक यात्राओं के लिए एक साल का मल्टीपल-एंट्री वीजा अनिश्चितकाल के लिए रोक दिया है। सऊदी अधिकारियों का कहना है कि इससे हज यात्रा को बेहतर तरीके से नियंत्रित करने में मदद मिलेगी।

सऊदी के सामने हालिया वर्षों में अनाधिकृत हज यात्री एक बड़ी चुनौती बनकर उभरे हैं। सऊदी अधिकारियों ने बताया कि मल्टीपल-एंट्री वीजा का दुरुपयोग हो रहा था। कुछ यात्री लंबी अवधि के वीजा पर आने के बाद बिना उचित अनुमति के हज करते थे।

सऊदी अरब हज यात्रा पर कड़ा नियंत्रण रखता है और प्रत्येक देश के लिए हज यात्रियों की एक निश्चित संख्या तय करता है। इसके बावजूद कई पर्यटक लंबी अवधि के वीजा का उपयोग करके इस सीमा को तोड़ते थे, जिससे हज में भीड़भाड़ बढ़ती थी। यह समस्या 2024 में विशेष रूप से गंभीर हो गई थी, जब अत्यधिक गर्मी और भीड़ के कारण 1,200 से अधिक हज यात्रियों की मौत हो गई थी।

सऊदी अरब के प्रिंस सलमान ने ट्रंप को दिया बड़ा ऑफर, 600 अरब डॉलर के निवेश का ऐलान

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डोनाल्ड ट्रंप के राष्ट्रपति पद पर लौटते ही सऊदी अरब ने अमेरिकी को खुश कर दिया है। सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान ने अमेरिका में 600 अरब डॉलर के निवेश और व्यापार करने की इच्छा जताई है। सऊदी अरब की सरकारी न्यूज़ एजेंसी ने जानकारी दी कि प्रिंस एमबीएस ने ट्रंप को उनके राष्ट्रपति बनने की बधाई दी और उनसे फोन पर बातचीत की। इसके साथ ही इतना बड़ा ऑफर दे डाला। इसके साथ ही सऊदी अरब और अमेरिका के बीच रिश्तों में एक नया अध्याय शुरू हो गया है। दरअसल, इससे पहले जो बाइडन के राष्‍ट्रपति रहने के दौरान प्रिंस से उनके रिश्‍ते तल्‍ख बने हुए थे। दोनों के बीच मानवाधिकारों को सऊदी पत्रकार जमाल खशोगी की हत्‍या को लेकर विवाद था।

सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान ने गुरुवार को डोनाल्ड ट्रम्प से बातचीत कर उन्हें दोबारा राष्ट्रपति बनने की बधाई दी। रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक ट्रम्प के राष्ट्रपति पद संभालने के बाद विदेशी नेताओं में सबसे पहले प्रिंस सलमान से बातचीत हुई। क्राउन प्रिंस ने ट्रम्प से कहा कि सऊदी अरब, अमेरिका में अगले 4 साल में 600 बिलियन डॉलर (52 लाख करोड़) का निवेश करने को तैयार है। प्रिंस सलमान ने कहा कि अगर परिस्थितियां अनुकूल रहीं तो यह निवेश और बढ़ भी सकता है।

सऊदी प्रिंस ने ट्रंप से कहा कि उनका देश नए प्रशासन के सुधार से पैदा होने वाले अवसरों का फायदा उठाना चाहता है और भागीदारी तथा निवेश करना चाहता है। उन्‍होंने कहा कि इन सुधारों से अप्रत्‍याशित समृद्धि आ सकती है। सऊदी एजेंसी ने यह नहीं बताया कि प्रिंस किन सुधारों की बात कर रहे हैं। ट्रंप के पहले कार्यकाल से ही सऊदी अरब और अमेरिका के बीच बहुत करीबी संबंध रहे थे। ट्रंप और सऊदी प्रिंस पश्चिम एशिया में शांति और स्थिरता लाना चाहते थे। साथ ही उनका इरादा आतंकवाद से मिलकर लड़ने का भी है।

सऊदी से हो सकती है ट्रंप की विदेश यात्रा की शुरुआत

अपने पिछले कार्यकाल में डोनाल्ड ट्रंप ने अमेरिकी राष्ट्रपतियों की पहली यात्रा पर ब्रिटेन जाने की परंपरा तोड़ते हुए, सऊदी अरब की पहली यात्रा की थी। इस बार भी वह ऐसा कर सकते हैं। इससे पहले अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने सोमवार को कहा था कि वह फिर से पहला विदेशी दौरा सऊदी अरब का कर सकते हैं, लेकिन इसकी कीमत देनी होगी। ट्रंप की टिप्पणी के बाद सऊदी प्रिंस ने अमेरिका में अरबों डॉलर का निवेश करने का ऐलान किया है।

पहली बार विदेश दौरे पर सऊदी गए थे ट्रंप

अमेरिका में राष्ट्रपति बनने के बाद कनाडा-मेक्सिको या फिर यूरोपीय देश की यात्रा करने की परंपरा है। पहली बार ट्रंप ने ही इस परंपरा को 2017 में तोड़ा था। ट्रम्प ने सोमवार को इस बात का खुलासा किया कि उन्होंने पहले विदेशी दौरे के लिए सऊदी अरब को इसलिए चुना था, क्योंकि वहां से सैकड़ों अरब डॉलर की बिजनेस डील हुई थी। तब सऊदी अरब 450 अरब डॉलर की कीमत के अमेरिकी सामान खरीदने पर राजी हुआ था, इसके बाद उन्होंने वहां का दौरा किया। मैं फिर से वहां का दौरा कर सकता हूं लेकिन इसके लिए उन्हें अमेरिकी सामान खरीदना होगा। अगर सऊदी 450 या फिर 500 अरब डॉलर की बिजनेस डील के लिए तैयार होता है, तो मैं फिर से वहां जाने के लिए तैयार हूं।

सऊदी अरब की निवेश योजना के संभावित पहलू

• अमेरिका में निवेश: सऊदी अरब ने अगले चार वर्षों में 600 अरब डॉलर के निवेश का वादा किया है। इसमें इंफ्रास्ट्रक्चर, ऊर्जा, और तकनीकी क्षेत्रों पर जोर दिया जाएगा। यह प्रस्ताव अमेरिका और सऊदी अरब के बीच आर्थिक संबंधों को नई ऊंचाइयों तक ले जा सकता है।

• हथियार सौदे: सऊदी अरब और अमेरिका के बीच हमेशा हथियार सौदे महत्वपूर्ण रहे हैं। ट्रंप के पहले कार्यकाल में 450-500 अरब डॉलर के हथियार सौदे हुए थे। हालांकि, अब 600 अरब के निवेश में हथियार खरीदारी का हिस्सा बड़ा हो सकता है।

• मध्य पूर्व में स्थिरता: एमबीएस और ट्रंप दोनों पश्चिम एशिया में शांति और स्थिरता लाना चाहते हैं। ये आतंकवाद के खिलाफ मिलकर लड़ने का इरादा भी इस साझेदारी को मजबूत करेगा।

सउदी अरब के साथ मिलकर क्या प्लानिंग कर रहा भारत? दोनों देशों के विदेश मंत्री के बीच हुई मुलाकात

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सऊदी अरब के विदेश मंत्री प्रिंस फैसल बिन फरहान अल-सऊद अपने दो दिवसीय आधिकारिक दौरे पर भारत पहुंचे हैं। जहां उन्होंने हैदराबाद हाउस में विदेश मंत्री एस जयशंकर से मुलाकात की। सऊदी अरब के विदेश मंत्री प्रिंस फैसल बिन फरहान अल सऊद से मुलाकात में एस जयशंकर ने कहा कि भारत गाजा में शीघ्र युद्धविराम का समर्थन करता है और वह लगातार दो स्टेट सॉल्यूशन के माध्यम से फिलिस्तीनी मुद्दे के समाधान के लिए खड़ा है। जयशंकर ने कहा कि पश्चिम एशिया की स्थिति खासकर गाजा में स्थिति गहरी चिंता का विषय है। विदेश मंत्री ने सऊदी अरब को क्षेत्र में स्थिरता के लिए एक महत्वपूर्ण ताकत बताया।

दिल्ली के हैदराबाद हाउस में विदेश मंत्री एस जयशंकर ने प्रिंस फैसल बिन फरहान अल सऊद से मुलाकात की। एस जयशंकर और प्रिंस फैसल बिन फरहान अल सऊद के बीच बैठक के बाद भारतीय विदेश मंत्रालय ने एक बयान जारी किया। एस जयशंकर ने कहा कि हमने क्षेत्रीय और अंतर्राष्ट्रीय मुद्दों, विशेष रूप से पश्चिम एशिया में चल रहे संघर्ष और विभिन्न बहुपक्षीय मंचों पर हमारे संयुक्त प्रयासों पर भी विचारों का आदान-प्रदान किया। जयशंकर ने कहा कि भारत दो-राज्य समाधान के माध्यम से फिलिस्तीनी मुद्दे के समाधान के लिए खड़ा है। फिलिस्तीनी संस्थाओं के निर्माण में योगदान दिया है।

इन मुद्दों पर हुई दोनों नेताओं की बात

जारी बयान में कहा गया है कि एस जयशंकर और प्रिंस फैसल बिन फरहान अल सऊद ने व्यापार, रक्षा, निवेश, ऊर्जा, सुरक्षा और कांसुलर मुद्दों पर भारत और सऊदी अरब के बीच रणनीतिक साझेदारी को मजबूत करने के तरीकों पर चर्चा की। एस जयशंकर और प्रिंस फैसल बिन फरहान अल सऊद भारत-सऊदी रणनीतिक साझेदारी परिषद (एसपीसी) की राजनीतिक, सुरक्षा, सामाजिक और सांस्कृतिक (पीएसएससी) समिति की सह-अध्यक्षता करते हैं। इस दौरान दोनों ने सितंबर 2023 में सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान की भारत यात्रा के बाद दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय संबंधों में हुई प्रगति की समीक्षा की।

हम शीघ्र युद्धविराम का समर्थन करते हैं’

एस जयशंकर ने कहा कि पश्चिम एशिया की स्थिति गहरी चिंता का विषय है। विशेषकर गाजा में संघर्ष. इस संबंध में भारत की स्थिति सैद्धांतिक और सुसंगत रही है। उन्होंने कहा, हालांकि हम आतंकवाद और बंधक बनाने के कृत्यों की निंदा करते हैं। हम निर्दोष नागरिकों की मौत से बहुत दुखी हैं। हम शीघ्र युद्धविराम का समर्थन करते हैं।

सऊदी के साथ भारत की पार्टनरशिप

जयशंकर ने कहा कि सऊदी अरब का 'विजन 2030' और भारत का विकसित भारत 2047 दोनों देशों के उद्योगों के लिए नई पार्टनरशिप करने के लिए पूरक हैं। उन्होंने कहा कि व्यापार और निवेश हमारी साझेदारी के महत्वपूर्ण स्तंभ हैं। हम प्रौद्योगिकी, ऊर्जा, हरित हाइड्रोजन सहित नवीकरणीय ऊर्जा, कनेक्टिविटी, स्वास्थ्य और शिक्षा सहित नए क्षेत्रों में अपने सहयोग को मजबूत कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि सऊदी अरब में भारतीय समुदाय की संख्या 26 लाख है।

ChaiApps: Crafting a Global Culinary Legacy.

In a world full of foodies, one name is quickly becoming the most popular: ChaiApps. ChaiApps, a unique combination of classic and inventive tastes with new age twists, is about more than simply amazing taste; it's about feeling well. ChaiApps has been identified with quality and authenticity, offering over 25 organic tea varieties that are quite popular in India. From humble beginnings to become India's favorite culinary brand in the world.

ChaiApps is all about providing the pleasant, aromatic flavor of traditional Indian tea, which warms hearts everywhere. In fact, ChaiApps proudly sells over 2 lacs kulhad chai every day in India alone, demonstrating its everlasting devotion to delighting tea lovers with every drink.

ChaiApps, founded by CEO Satvir Singh and co-founder Nitin Tomar, originated in 2017 as a concept in the corridors of Indira Gandhi Airport. Driven by a desire to deliver real Indian flavours, the founders set out on a quest to transform the tea industry. Years of extensive research and effort culminated in the opening of the first ChaiApps location in Gurgaon in 2020.

ChaiApps has grown rapidly since its inception, with plans to open over 100 stores across India by 2022. But ChaiApps' aims go well beyond national borders. The brand's objective is to promote the joy of Indian flavours over the world by making its famous Kulhad Chai a household name. ChaiApps plans to establish 150 shops in India over the next two years, as well as 25 outlets in the UAE, Oman, Qatar, and Saudi Arabia, as part of its international expansion.

ChaiApps distinguishes itself in the competitive market with its unique offerings and business model. Operating with a chef-less approach provides consistency and quality, while ChaiApps' low-risk management and quick return on investment of 8-10 months make it an appealing opportunity for aspiring entrepreneurs. ChaiApps uses technology for data and inventory management, resulting in efficient operations and seamless customer experiences. ChaiApps develops confidence and credibility among its partners and consumers by maintaining complete transparency and avoiding hidden charges.

Aside from its signature Kulhad Chai, ChaiApps has a diverse menu, catering to every craving imaginable. From delectable burgers and pizzas to soothing Maggie and momos, each dish is meticulously prepared using unique and effective raw materials, resulting in an average gross profit of 50-60%.

As ChaiApps continues to write its success narrative, the brand stays dedicated to its fundamental values of excellence, customer satisfaction, and building long term connections. With its headquarters in the heart of New Delhi, ChaiApps is more than just a brand; it represents the rich tapestry of Indian flavours and hospitality.

In a world where tastes evolve and trends fade, ChaiApps stands out as a symbol of tradition, flavor, and innovation. ChaiApps, with its consistent commitment to quality, transparency, and customer satisfaction, ChaiApps invites newbies to join its journey of spreading happiness and flavours. As the aroma of Indian spices fills the air, ChaiApps continues to transform the culinary landscape, one sip at a time.

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চারধাম যাত্রার জন্য অনলাইন রেজিস্ট্রেশন আজ থেকে শুরু হচ্ছে

#Travel, #Online _registration _for Chardham _Yatra starts today এসবি নিউজ ব্যুরো: চারধাম যাত্রার জন্য অনলাইন রেজিস্ট্রেশন আজ থেকে শুরু হচ্ছে। পর্যটন দফতর সূত্রে খবর, সারা দেশ ও বিশ্ব থেকে আগত ভক্তরা আজ থেকে চারধাম যাত্রার জন্য নিবন্ধন করতে পারবেন। সকাল ৭টা থেকে রেজিস্ট্রেশনের জন্য ওয়েবসাইট খুলবে। এছাড়াও মোবাইল অ্যাপ, হোয়াটসঅ্যাপ নম্বর এবং টোল ফ্রি নম্বরের রেজিস্ট্রেশন সুবিধা রয়েছে। কেদারনাথ, বদ্রীনাথ, গঙ্গোত্রী এবং যমুনোত্রী ধামে আসা ভক্তদের জন্য নিবন্ধন বাধ্যতামূলক হবে। চারধামের দরজা খোলার তারিখ ঠিক হওয়ার পর রেজিস্ট্রেশনের প্রস্তুতি সম্পন্ন করেছে পর্যটন বিভাগ। এ বার চারধাম যাত্রা শুরুর ২৫ দিন আগে তীর্থযাত্রীদের রেজিস্ট্রেশনের সুবিধা দেওয়া হচ্ছে, যাতে রাজ্যের বাইরে থেকে আগত তীর্থযাত্রীরা তাদের ভ্রমণের পরিকল্পনা করতে এবং সহজেই নিবন্ধন করতে পারেন। এছাড়াও এবারও দেশের যে কোন প্রান্ত থেকে হজযাত্রীরা ৪টি মাধ্যমে নিবন্ধন করতে পারবেন। নিবন্ধনের জন্য নাম, মোবাইল নম্বর এবং থাকার জায়গার ঠিকানা সহ ভ্রমণকারী সদস্যদের বিশদ বিবরণের জন্য আইডি প্রদান করতে হবে। এভাবে নিবন্ধন করুন পর্যটন বিভাগের ওয়েবসাইট, registrationandtouristcare.uk.gov.in-এ লগইন করে নিবন্ধন করা যেতে পারে। এছাড়াও, আপনি হোয়াটসঅ্যাপ নম্বর-8394833833-এ যাত্রা (ভ্রমণ) লিখে একটি বার্তা পাঠিয়েও নিবন্ধন করতে পারেন। যে সমস্ত ভ্রমণকারীরা ওয়েবসাইটে নিবন্ধন করতে অক্ষম, তাদের জন্য পর্যটন বিভাগ টোল ফ্রি প্রদান করেছে0135-1364 নম্বরে কল করে রেজিস্ট্রেশন সুবিধা প্রদান করা হয়েছে ।এছাড়াও, আপনি স্মার্ট ফোনে ট্যুরিস্টকারেরতারখন্ড মোবাইল অ্যাপের মাধ্যমে নিবন্ধন করতে পারেন। গত বছর ৭৪ লাখ তীর্থযাত্রী নিবন্ধন করেছিলেন।এর মধ্যে পুরো যাত্রা সময়কালে ৫৬ লাখ তীর্থযাত্রী ৪ধাম দর্শন করেছিলেন।
মালদহের দক্ষিণ কেন্দ্রের আসনের জন্য প্রচার বিজেপি প্রার্থীর

# BJP_ candidate  _campaigning _for _Malda South _Central _seat এসবি নিউজ ব্যুরো: গত বিধানসভা নির্বাচনে ইংরেজবাজার আসনে তৃণমূল কংগ্রেসের দাপুটে নেতা তথা প্রাক্তণ মন্ত্রী কৃষ্ণেন্দু নারায়ণ চৌধুরীকে পরাজিত করে চমক দিয়েছিলেন বিজেপি প্রার্থী শ্রীরুপা মিত্র চৌধুরী।তাই মোদী-শাহ জুটি  আসন্ন লোকসভা নির্বাচনে সেই  শ্রীরূপা মিত্র চৌধুরীর উপর ভরসা করেছেন। মালদা দক্ষিণ কেন্দ্রের বিজেপির প্রার্থীও করেছেন শ্রীরূপা মিত্র চৌধুরীকে।

উত্তরবঙ্গের বিজেপির  একমাত্র মহিলা প্রার্থী তিনি।প্রায় প্রতিদিনই ভোটারদের কাছে পৌঁছাতে  নির্বাচনী প্রচারেও  চমক দিচ্ছেন তিনি। সকাল থেকেই তাকে জনসংযোগে ব্যস্ত থাকতে দেখা যাচ্ছে  বিজেপি প্রার্থীকে। কখনো টোটো চালিয়ে প্রচার। আবার কখনো জেলার একমাত্র বড়  পাইকারি রথবাড়ি বাজারের ক্রেতা  বিক্রেতার কাছে গিয়ে জনসংযোগ করতে।

বিজেপির মালদা দক্ষিণ লোকসভা কেন্দ্রের প্রার্থী শ্রীরূপা মিত্র চৌধুরীর দাবি হাটে বাজারে তিনি রয়েছেন। শুধু ভোটের সময় নয় , সারা বছরই এলাকার মানুষের পাশে থাকেন তিনি। তার অভিযোগ, ১৫৩ বছরের পৌরসভায় এখনও অনেক পিছিয়ে। এলাকাবাসীও সেই অভিযোগ তুলছেন। প্রচারে ব্যপক সাড়া  পাচ্ছেন জানান তিনি।

सऊदी अरब ने पाक पीएम शहबाज की उम्मीदों पर फेरा पानी, कश्मीर पर दिया बड़ा झटका

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पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ बड़े अरमान लेकर सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान (एमबीएस) से मिलने पहुंचे थे। हालांकि, उनकी उम्मीदों को बड़ा झटका लगा। सऊदी अरब ने कश्मीर मुद्दे पर पाकिस्तान को बड़ा झटका दिया है। क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान अल सऊद ने कश्मीर को भारत और पाकिस्तान के बीच द्विपक्षीय मुद्दा बताया है। इतना ही नहीं, उन्होंने यह भी कहा है कि इस मुद्दे को भारत और पाकिस्तान को बातचीत के जरिए सुलझाना होगा।

सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस ने साझा बयान में कश्मीर समेत अन्य लंबित मुद्दों को सुलझाने के लिए नई दिल्ली और इस्लामाबाद के बीच बातचीत के महत्व पर जोर दिया।पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ और सऊदी शासक प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान के बीच मक्का के अल-सफा पैलेस में हुई एक आधिकारिक बैठक के एक दिन बाद एक संयुक्त बयान जारी किया गया।बयान के मुताबिक, उनकी चर्चा सऊदी अरब और पाकिस्तान के बीच भाईचारे वाले संबंधों को मजबूत करने तथा विभिन्न क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने के रास्ते तलाशने पर केंद्रित रही।

सऊदी ने भारत-पाक में बातचीत का किया आह्वान

बयान में कश्मीर सहित क्षेत्रीय मुद्दों पर भी चर्चा की बात कही गई है। सऊदी अरब ने संयुक्त बयान में शांति और स्थिरता सुनिश्चित करने के लिए दोनों देशों के बीच लंबित मुद्दों, विशेष रूप से जम्मू और कश्मीर विवाद को हल करने के लिए पाकिस्तान और भारत के बीच बातचीत के महत्व पर जोर दिया।

सऊदी अरब का बयान पाक के लिए बड़ा झटका

सऊदी अरब के कश्मीर को लेकर दिए गए बयान को पाकिस्तान के लिए एक बड़े झटके के रूप में देखा जा रहा है, दरअसल पाकिस्तान यूएन सहित अन्य वैश्विक मंचों पर कश्मीर का मुद्दा उठाता रहा है। वह यूएन के तत्वाधान में जनमत संग्रह का राग भी अलापता रहा है, हालांकि भारत ने हमेशा से ही इसका विरोध किया है और इसे द्विपक्षीय मुद्दा बताया है। नई दिल्ली का लंबे समय से रुख रहा है कि कश्मीर भारत और पाकिस्तान के बीच मुद्दा हम दो देशों का है और किसी तीसरे पक्ष की मध्यस्थता या हस्तक्षेप का कोई सवाल ही नहीं है।

सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान का बड़ा बयान, कहा-हम भी न्यूक्लियर बम बना लेंगे, अगर...

#saudicrownprincesaidifiranmakesnuclearweaponsthenwewillalso_get 

सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान ने बुधवार को अमेरिका में फॉक्स न्यूज को एक इंटरव्यू दिया।इंटरव्यू में मोहम्मद बिन सलमान ने कहा कि अगर उनका प्रतिद्वंद्वी ईरान पहले न्यूक्लियर बम बना लेता है तो, वो भी न्यूक्लियर बम बना लेंगे। उन्होंने कहा कि अगर ईरान के पास एक न्यूक्लियर बम होगा तो हमारे पास भी एक होना चाहिए।

'दुनिया दूसरा हिरोशिमा नहीं देखना चाहती'

क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान ने बुधवार को कहा कि सऊदी अरब परमाणु हथियार हासिल कर लेगा यदि उसका प्रतिद्वंद्वी ईरान पहले ऐसा करता है। उन्होंने फॉक्स न्यूज को दिए एक इंटरव्यू में यह टिप्पणी की। संबंधित खतरों के बारे में बोलते हुए, प्रिंस सलमान ने कहा कि जब भी कोई देश परमाणु हथियार हासिल करता है तो सऊदी अरब 'चिंतित' होता है। हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि कोई भी परमाणु हथियार का उपयोग नहीं करेगा क्योंकि इसका मतलब बाकी दुनिया के साथ युद्ध शुरू करना होगा। सऊदी प्रिंस ने आगे कहा, 'दुनिया दूसरा हिरोशिमा नहीं देखना चाहती'। अगर दुनिया 1 लाख लोगों को मरते हुए देखेगी तो इसका मतलब है कि आप बाकी दुनिया के साथ युद्ध में हैं।

ईरान के परमाणु कार्यक्रम में तेजी आई

डोनाल्ड ट्रंप ने 2015 की ईरान न्यूक्लियर डील को तोड़ दिया। बाद में जो बाइडेन ने भी इसे फिर शुरू करने से इनकार कर दिया, जिसके बाद ईरान के परमाणु कार्यक्रम में तेजी आई है। यह इस क्षेत्र के लिए अस्थिरता पैदा करने वाला है। साल 2016 में सऊदी अरब ने घोषणा की थी कि वह अगले दो दशक में 16 न्यूक्लियर रिएक्टर बनाएगा, जिसकी लागत 80 अरब डॉलर होगी। इसके दो साल बाद किंगडम ने अपनी राष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा नीति को मंजूरी दी, जो शांतिपूर्ण उद्देश्यों के लिए परमाणु ऊर्जा के इस्तेमाल को सीमित करता है।

ईरान के परमाणु कार्यक्रम पर सऊदी की नजर

सऊदी अरब और ईरान की दोस्ती नई नई है। साल की शुरुआत में चीन ने अपने देश मे ईरान और सऊदी अरब के बीच दोस्ती कराई थी। ईरान जो शिया बहुल देश है, उसकी सुन्नी देश सऊदी अरब से दोस्ती की दुनियाभर में चर्चा हुई। ईरान पूरी ताकत के साथ परमाणु बम बनाने की जुगत में है। ईरान के परमाणु कार्यक्रम की प्रगति देखकर भला सऊदी अरब कहां पीछे रहने वाला था। यही कारण है कि सऊदी अरब के प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान ने ये ऐलान किया है। 

सऊदी अरब की तरफ से पहले भी आया है ऐसा बयान

हालांकि, यह पहली बार नहीं है जब ईरान के संभावित खतरे को देखते हुए परमाणु बम संबंधित कोई बयान सऊदी अरब की तरफ से आया हो। सऊदी अरब के विदेश मंत्री प्रिंस फैसल बिन फरहान अल सऊद ने पिछले साल बयान दिया था, कि अगर तेहरान को 'ऑपरेशनल परमाणु हथियार' मिलता है तो राज्य अपनी सुरक्षा बढ़ाने के लिए कदम उठाएगा।

रमज़ान के पहले हफ्ते में सऊदी अरब में भयानक हादसा, कम से कम 20 लोगों की मौत, 29 घायल

#saudi-arabia-several-umrah-pilgrims_killed_29

सऊदी अरब के असीर में तीर्थयात्रियों से भरी बस हादसे की शिकार हो गई। हादसे में कम से कम 20 तीर्थयात्रियों की मौत हो गई और 29 अन्य घायल हो गए।गल्फ न्यूज की रिपोर्ट के अनुसार घटना असीर में हुई जहां यात्रियों से भरी बस एक पुल से टकरा गई और पलट गई। इसके बाद उसमें आग लग गई जिससे 20 लोगों की मौत हो गई।

बताया जा रहा है कि जा रहा है कि ब्रेक फेल होने के बाद बस हादसे की शिकार हुई। बस के पलटने से उसमें आग भी लग गई।जानकारी के मुताबिक, असीर प्रांत और आभा शहर को जोड़ने वाली सड़क पर बस हादसे की शिकार हुई। बस सवार सभी लोग उमरा करने के लिए मक्का जा रहे थे।

सऊदी सिविल डिफेंस और रेड क्रिसेंट अथॉरिटी की टीमें दुर्घटनास्थल पर पहुंच गई हैं और इलाके को घेर लिया है। साथ ही घायलों को नजदीकी अस्पताल में भर्ती कराया है। फिलहाल, मृतकों की शिनाख्त नहीं हो पाई है। इस संबंध में जांच पड़ताल जारी है।