रंगारंग कार्यक्रम में विदेशी छात्रों का दिखा जलवा, उत्कृष्ट कार्य करने वाले शिक्षक व कर्मचारी सम्मानित
कुमारगंज अयोध्या। आचार्य नरेंद्र देव कृषि एवं प्रौद्योगिक विश्वविद्यालय का 50वां स्थापना दिवस गुरुवार को धूमधाम के साथ मनाया गया। इस मौके पर उत्कृष्ट कार्य करने वाले कर्मचारियों एवं शिक्षकों को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया। विभिन्न महाविद्यालयों के छात्र-छात्राओं ने रंगारंग कार्यक्रम प्रस्तुत किए। स्मोक पर विदेशी छात्र-छात्राओं ने जमकर जलवा बिखरा।
कार्यक्रम का शुभारंभ सभी अतिथियों ने आचार्य नरेंद्र देव की प्रतिमा पर माल्यार्पण एवं जल भरो के साथ किया। कार्यक्रम को बतौर मुख्य अतिथि संबोधित करते हुए कृषि वैज्ञानिक चयन मंडल के अध्यक्ष डा. संजय कुमार ने कहा कि यह विश्वविद्यालय वर्तमान समय में तेजी के साथ विकास कर रहा है तो इसमें आप सभी का योगदान है। विवि ने नैक में सफलता हासिल करने के बाद कृषि शिक्षा को विश्व स्तर पर एक नई पहचान दी है। उन्होंने कहा कि देश को आर्थिक रूप से सुदृढ़ बनाने में कृषि जगत ने एक अलग पहचान बनाई है। कोविड के दौरान 140 करोड़ लोगों तक अनाज पहुंचाने के साथ-साथ विदेशों में भी अनाज निर्यात किया गया है। उन्होंने कहा कि किसानों और समाज की जरूरतों को ध्यान में रखकर वैज्ञानिकों को शोध कार्य करना होगा। उन्होंने युवा छात्र-छात्राओं का उत्साह बढ़ाया। कहा कि उन्हें नोबेल पुरस्कार विजेता विक्टर एंब्रोस और गैरी रुवकुन से छात्रों को प्रेरणा लेने की जरूरत है। डा. संजय कुमार ने कहा कि बड़ी सफलता को हासिल करने के लिए लक्ष्य को भी बड़ा करना होगा। विश्वविद्यालय में सभी अत्याधुनिक सुविधाएं छात्र-छात्राओं को मुहैया हो रहीं हैं।
विवि को जीवंत बनाने का भी प्रयास किया गया है जिसका लाभ आने वाले समय में सभी लोगों को मिलेगा। विशिष्ठ अतिथि राष्ट्रीय डेयरी अनुसंधान संस्थान करनाल के निदेशक एवं कुलपति डा. धीर सिंह ने कहा कि आचार्य नरेंद्र देव विलक्षण प्रतिभा एवं व्यक्तिव के धनी थे। वे परिस्थितियों के अनुरूप कार्य करते थे और स्वयं आगे बढ़कर कार्य करते थे। इस मौके पर उन्होंने छात्र-छात्राओं को उद्यमी बनने पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि छात्रों को सरकारी नौकरी के पीछे नहीं पड़कर उद्यमिता की ओर ध्यान देने की जरूरत है। कहा कि अब समय आ गया है कि नौकरी पाने के लिए ध्यान हटाकर दूसरों को नौकरी देने के लिए काम करना होगा। उन्होंने कहा कि उद्यमिता और स्टार्टप नवाचार, रोजगार सृजन और आर्थिक विकास को आगे बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। इस दौरान उन्होंने कहा कि विवि नैक में उच्च ग्रेड पाने वाला देश का पहला कृषि विवि बन गया है।
इसके लिए उन्होंने विवि को बधाई एवं शुभकामनाएं दी। विवि के कुलपति डा. बिजेंद्र सिंह ने कहा कि आचार्य नरेंद्र देव एक महान शिक्षाविद, साहित्यकार और स्वतंत्रता सेनानी थे। वे समाजवाद के सबसे प्रभावशाली नेताओं में से एक थे। कुलपति ने कहा कि कहा कि यह पूरा वर्ष विवि के लिए उपलब्धियों से भरा रहा। नैक में अ++ उच्च ग्रेड मिला जो सभी की सफलता का परिणाम है। विश्वविद्यालय में पिछले सत्र में श्रीलंका, विएनताम, जिम्बाब्वे और नेपाल के छात्रों ने प्रवेश लिया था और इस सत्र में भी घाना, मिश्र, लिसोथो, केन्या और नेपाल के छात्र-छात्राओं ने प्रवेश लिया जो बड़ी उपलब्धि है। उन्होंने बताया कि धान की दो उन्नत किस्म काला नमक प्रजाति काला नमक-1 पूसा नरेंद्र सीआरडी विकसित की गई है। इसके साथ ही विवि ने फल और सब्जियों की 10 प्रजातियों को विकसित किया है। राज्यस्तरीय युवा महोत्सव में कुल 19 पदक जीतकर विश्ववद्यालय राज्य में दूसरे स्थान पर रहा।
विश्वविद्यालय को क्लीन एंड ग्रीन कैंपस जैसी कई उपलब्धियों को अपने नाम कर चुका है। नैक में उत्कृष्ट कार्य के लिए आईक्यूएसी के निदेशक, संयोजक एवं विभिन्न समितियों के अध्यक्ष, उपाध्यक्ष और सदस्यों को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया। इस दौरान एनडीआरआई करनाल और कृषि विवि के बीच एमओयू पर हस्ताक्षर हुआ जिससे आने वाले समय में छात्रों को शिक्षा, शोध के साथ-साथ प्रमोशन में बढ़ावा मिलेगा। अतिथियों द्वारा चार पुस्तिकाओं का विमोचन किया गया। इससे पहले कुलपति ने सभी अतिथियों को स्मृति चिह्न भेंटकर सम्मानित किया। परंपरागत खेलकूद प्रतियोगिता के विजेता प्रतिभागियों को भी अतिथियों ने सम्मानित किया। छात्राओं ने विवि कुलगीत प्रस्तुत किया। छात्र कल्याण अधिष्ठाता डा. डी.नियोगी ने विश्वविद्यालय की रूपरेखा को सबके समक्ष रखा। कृषि महाविद्यालय की अधिष्ठाता डा. प्रतिभा सिंह के संयोजन में कार्यक्रम आयोजित किया गया। स्वागत संबोधन डा. प्रतिभा सिंह एवं कार्यक्रम का संचालन डा. सुप्रिया ने किया। इस मौके पर विश्वविद्यालय के समस्त अधिष्ठाता, निदेशक, शिक्षक, कर्मचारी एवं छात्र-छात्राएं मौजूद रहे।
स्थापना दिवस पर सम्मानित होने वाले शिक्षक एवं कर्मचारी
डा. वी.के पाल, डा. पीयूषा सिंह, डा. राधाकृष्णन, डा. आस्तिक झा, डा. जेबा, डा. विजय कुमार सिंह, राकेश कुमार सिंह, संजय कुमार सिंह, विजय कुमार, राकेश कुमार सिंह, पूनम, प्रतिमा, सुमन, जयप्रकाश यादव, रामपाल सिंह, ओमप्रकाश, रामजी पाठक, शैलेंद्र कुमार सिंह, निखिल श्रीवास्तव, उमेश कुमार, कमल किशोर, श्याम लाल, अमर बहादुर सिंह, वीरेंद्र कुमार, राघवेंद्र दूबे, जगराम किशन मौर्य, आशीष श्रीवास्तव, विनोद कुमार, तनवीर खान, शादजिद अली, उमापति पांडेय, वीरेंद्र बहादुर, जयप्रकाश यादव, रामनीरज को उत्कृष्ट कार्यों के लिए समस्त अतिथियों द्वारा प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया।
Oct 10 2024, 19:40